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बठिंडा में आक्सीजन सिलेंडर की कमी नहीं, सिर्फ मांग बढ़ी

कोरोना पाजिटिव केसों की बढ़ती संख्या के बाद सेहत सुविधाओं को लेकर जिला प्रशासन व सेहत विभाग की चिता को बढ़ा दिया है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 23 Apr 2021 10:25 PM (IST)Updated: Fri, 23 Apr 2021 10:25 PM (IST)
बठिंडा में आक्सीजन सिलेंडर की कमी नहीं, सिर्फ मांग बढ़ी

नितिन सिगला, बठिडा : कोरोना पाजिटिव केसों की बढ़ती संख्या के बाद सेहत सुविधाओं को लेकर जिला प्रशासन व सेहत विभाग की चिता को बढ़ा दिया है। वर्तमान में सबसे ज्यादा समस्या आक्सीजन सिलेंडरों को लेकर आ रही है। जिले में कोरोना के मरीजों की संख्या बढ़ने से आक्सीजन गैस की डिमांड भी बढ़ गई है। जिले के सरकारी व प्राइवेट अस्पतालों में 300 से ज्यादा ऐसे मरीज भर्ती हैं, जिन्हें निरंतर आक्सीजन की जरूरत है। इन मरीजों को आक्सीजन उपलब्ध कराने के लिए जिला अस्पताल प्रबंधन को हर दिन 600 से ज्यादा सिलेंडर आक्सीजन की जरूरत है, जबकि सरकारी व प्राइवेट अस्पतालों को आक्सीजन सिलेंडरों की सप्लाई करने वाले सप्लायर के पास महज एक दिन का स्टाक पड़ा है। ऐसे में सप्लायर को भी 250 रुपये वाला सिलेंडर अब होलसेल में 700 से 800 रुपये में मिल रहा है, जोकि आगे 1000 से लेकर 1200 रुपये में सप्लाई हो रहा है। ऐसे में आने वाले दिनों में बठिडा में आक्सीजन की कमी बनी हुई है। चूंकि बठिडा में स्थित गैस रिफेल सिलेंडर के तीन प्लांटों को आक्सीजन की सप्लाई नहीं मिलने के कारण बंद हो चुके हैं। इसके चलते सप्लायर ने अब क्षमता से ज्यादा सिलेंडर देने से इंकार कर दिया। वर्तमान में बठिडा में चार एजेंसी आक्सीजन सिलेंडर की सप्लाई कर रहीं हैं, जबकि कोरोना का संक्रमण लगातार फैल रहा है। अस्पतालों में अन्य मरीजों की ओपीडी भी शुरू हो गई है। गंभीर मरीजों के लिए आक्सीजन सिलेंडर की जरूरत बढ़ने लगी है। अभी जिले के विभिन्न अस्पतालों में 700 से अधिक आक्सीजन सिलेंडर की खपत होने लगी है। बठिडा में लेवल 2 के जहां 283 मरीज हैं, वहीं लेवल 3 के 85 मरीजों को पल-पल आक्सीजन जरूरी है। जिले में रोजाना औसतन 500 से 600 नए कोरोना संक्रमित मरीज सामने आ रहे हैं। वर्तमान में जिले के अंदर 15 हजार से अधिक पॉजिटिव केस आ चुके हैं। इसमें 1600 से ज्यादा एक्टिव केस हैं। इसमें 100 से 150 मरीज 65 और 75 वर्ष से अधिक उम्र वाले मरीज भी आ रहे है, जिन्हें आक्सीजन की सबसे ज्यादा जरूरत पड़ रही हैं। पहले जिले के विभिन्न अस्पतालों में प्रतिदिन आक्सीजन की 300 सिलेंडर की खपत थी, जोकि अब बढ़कर 800 तक पहुंच गई है। यह डिमांड पिछले 15 दिनों में से बढ़ी है। सिविल अस्पताल के अधिकारियों कहना है कि अस्पताल में आक्सीजन सिलेंडरों की कोई कमी नहीं है, विभाग द्वारा गैस सप्लाई व रेट संबंधी गैस प्लांट संचालक से ही रेट फिक्स है। इसमें कोई बढ़ोत्तरी नहीं हुई है। सप्लाई लगातार आ रही है। उन्होंने बताया कि कोरोना मरीजों की संख्या में अचानक बढोत्तरी हुई जिससे अब बड़े सिलेंडरों की खपत बढ़ी है।

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हिमाचल से होती है आक्सीजन की सप्लाई

बठिडा में ज्यादा तरह आक्सीजन के सिलेंडर हिमाचल प्रदेश से आते हैं, लेकिन कोरोना महामारी के चलते आक्सीजन की मांग पूरी नहीं हो पा रही हैं। ऐसे में आक्सीजन की जरूरत वाले मरीजों की बढ़ती संख्या सेहत विभाग के साथ ही निजी अस्पतालों के लिए भी परेशानी का सबब बनती जा रही है। सरकार का निर्देश है कि 80 फीसदी ऑक्सीजन मेडिकल के लिए रिजर्व है और 20 फीसदी इंडस्ट्रीज के लिए है।


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