अच्छी रिटर्न के लिए निवेश से पहले जोखिम की जानकारी होना जरूरी: सूर्याकांत
। कोविड-19 के दौरान हुए लॉकडाउन के कारण अर्थव्यवस्था पर पड़े प्रभाव का समाधान निकालने के लिए गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी में निजी वित्तीय प्रबंधन के लिए रणनीति विषय पर वेबिनार करवाया गया।
जागरण संवाददाता, अमृतसर
कोविड-19 के दौरान हुए लॉकडाउन के कारण अर्थव्यवस्था पर पड़े प्रभाव का समाधान निकालने के लिए गुरु नानक देव यूनिवर्सिटी में निजी वित्तीय प्रबंधन के लिए रणनीति विषय पर वेबिनार करवाया गया।
वेबिनार में देश के विभिन्न कॉलेज, यूनिवर्सिटी व अन्य संस्थाओं से करीब 498 माहिर शामिल हुए और वित्तीय प्रबंधन के सुधार को लेकर अपने-अपने विचार पेश किए। यह वेबिनार जीएनडीयू के यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ फाइनेंशियल स्टडी की ओर से करवाया गया।
इस दौरान विभाग की प्रबंधकीय सचिव डॉ. मंदीप कौर ने कहा कि कोविड-19 ने बचत व निवेश की गतिशीलता को बदल दिया है। जिससे अर्थव्यवस्था पर बहुत ही बुरा प्रभाव पड़ा है। अब आम आदमी के निजी वित्त स्त्रोत व प्रबंधन को नए ढंग व तरीके से विश्लेषण करने की जरूरत है। इसके लिए जरूरी है कि आम आदमी की ओर से की गई छोटी-छोटी बचत का प्रयोग सही ढंग से किया जाए। ताकि समय के साथ-साथ वित्तीय हालात पटरी पर आ सकें।
एएनएफआइ के सीनियर एडवाइजर सूर्या कांत शर्मा ने नौकरी व रिटायरमेंट के बाद वित्तीय योजना व प्रबंधन की अलग-अलग रणनीतियों के बारे में और म्यूचल फंड में किस तरह से निवेश करें आदि के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि निवेश से पहले जरूरी है कि उसके जोखिकं की पूरी स्टडी की जाए। जितना ज्यादा जानकारी होगी तो उतना ही ज्यादा रिटर्न मिलेगा।
वेबिनार के गेस्ट स्पीकर विराल पारेख ने बताया कि ऑनलाइन विचार-विमर्श के साथ अलग-अलग रणनीतियों, विकल्प निवेश व आमदनी निवेश के साथ नए वित्तीय प्रबंधन के नए रास्ते निकलेंगे, जिससे अर्थव्यवस्था फिर से रफ्तार पकड़ेगी। इस दौरान प्रो. बलविदर सिंह, डीन डॉ.हरदीप सिंह, डॉ. मंदीप कौर व अन्य भी अपने विचार पेश किए।