साहित्य सृजन की गुड़ती विरासत में मिली है: डा. कुलबीर सिंह
लारेंस रोड स्थित बीबीके डीएवी कालेज फार वूमेन में एक भारत श्रेष्ठ भारत के तहत भाषा विभाग पंजाब भाषा मंच पोस्ट ग्रेजुएट (पीजी) विभाग पंजाबी द्वारा हसदा पंजाब मेरा ख्वाब विषय के तहत कहानी दरबार का आयोजन किया गया।
जागरण संवाददाता, अमृतसर : लारेंस रोड स्थित बीबीके डीएवी कालेज फार वूमेन में एक भारत श्रेष्ठ भारत के तहत भाषा विभाग पंजाब भाषा मंच पोस्ट ग्रेजुएट (पीजी) विभाग पंजाबी द्वारा हसदा पंजाब मेरा ख्वाब विषय के तहत कहानी दरबार का आयोजन किया गया। कालेज की प्रिसिपल डा. पुष्पिदर वालिया की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में डा. कुलबीर सिंह सूरी, शिरोमणी बाल साहित्यकार, गुरिदर कौर सूरी और डा. परमजीत सिंह कलसी, जिला भाषा अधिकारी (भाषा-विभाग) अमृतसर-गुरदासपुर, गुरिदर मकना उपस्थित रहे। प्रिं. डा. वालिया ने कहा कि श्रेष्ठ समाज के निर्माण में लेखकों व कवियों का योगदान अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह समाज को संवेदनाएं देकर करुणा और सहानुभूति का संदेश देते हैं।
डा. कुलबीर सूरी ने कहा कि उन्हें साहित्य सृजन की गुड़ती विरासत में मिली है। उन्होंने बताया कि बाल-साहित्य के प्रति उनके आकर्षित होने का कारण पंजाबी में बाल-साहित्य की पुस्तकों का कम होना रहा है। बाल-साहित्य का मूल उद्देश्य बच्चों को शिक्षा देना है, जिससे वे श्रेष्ठ जीवन का मूल्य सीख सके हैं। उनकी कहानियां नैतिक मूल्यों, देश भक्ति और प्रकृति की विशालता से संबंध रखती हैं। कालेज की विद्यार्थी जोबनदीप कौर, एमए पंजाबी सेमेस्टर दूसरा, मानसी चावला एमए पंजाबी सेमेस्टर चौथा, नवनीत कौर बीडी सेमेस्टर दूसरा ने अतिथियों की कहानियां पढ़ीं और कहानियों का फिल्मांकन भी किया। पंजाबी विभाग अध्यक्षा डा. रानी ने आए मेहमानों का आभार व्यक्त किया। जबकि मंच का कुशल संचालन पंजाबी विभाग से डा. परमजीत कौर ने किया। इस मौके पर नोडल अधिकारी डा. शैली जग्गी भी विशेष तौर पर मौजूद रहीं।