जीएनडीएच में खुला पंजाब का पहला पोस्ट कोविड क्लिनिक
कोरोना मुक्त होने के बाद भी लोगों को कई शारीरिक समस्याओं से जूझना पड़ रहा है।
जागरण संवाददाता, अमृतसर: कोरोना मुक्त होने के बाद भी लोगों को कई शारीरिक समस्याओं से जूझना पड़ रहा है। यह तथ्य गुरु नानक देव अस्पताल में खोले गए पंजाब के पहले पोस्ट कोविड क्लिनिक में सामने आए हैं, जिसकी शुरूआत शनिवार को की गई। इस केंद्र में चार लोग आए हैं, जो कोरोना मुक्त तो हुए, पर सांस लेने में तकलीफ, नींद न आना, थकान व तनाव जैसी बीमारियों से ग्रसित थे। इन्हें क्लिनिक में ट्रीटमेंट देकर घर भेज दिया गया है। साथ ही उन्हें नियमानुसार दवा का सेवन करने को कहा है।
अस्पताल के मेडिकल सुपरिटेंडेंट डा. जेपी अत्री के अनुसार कोरोना मुक्त होने के बाद अन्य समस्याओं से जूझ रहे मरीजों के लिए यह क्लिनिक वरदान साबित होगा। इसमें मरीजों के फेफड़ों की जांच, ब्लड टेस्ट, सीटी स्कैन, एक्सरे आदि किए जाएंगे। मेडिसिन विभाग के डा. अवतार सिंह धंजू, साइकेट्रिक विभाग की डा. नीरू बाला, चेस्ट एंड टीबी विभाग से डा. गुनीत सिंह को इस क्लिनिक की बागडोर सौंपी गई है। कई बीमारियों के लक्षण देखे जा रहे मरीजों में
कोरोना मुक्त हुए लोगों को कई प्रकार की शारीरिक एवं मानसिक समस्याओं से गुजरना पड़ सकता है। अधिकतर लोगों में चेस्ट इंफेक्शन, पेट की बीमारी, सांस लेने में तकलीफ, थकान, अनिद्रा इत्यादि लक्षण दिख रहे हैं। इन समस्याओं से निजात दिलाने के लिए पंजाब सरकार ने गुरु नानक देव अस्पताल (जीएनडीएच) अमृतसर में पंजाब का पहला मल्टीस्पेशलिटी पोस्ट कोविड केयर क्लिनिक स्थापित किया है। भर्ती नहीं किए जाएंगे मरीज: डा. राजीव
सरकारी मेडिकल कालेज के प्रिसिपल डा. राजीव देवगण के अनुसार क्लिनिक में मरीजों को भर्ती करने की जरूरत नहीं होगी। उनकी हिस्ट्री लेकर घर भेज देंगे और जरूरी दवाओं का सेवन करने का निर्देश देंगे। गुरु नानक देव अस्पताल में 2000 से अधिक कोरोना पाजिटिव मरीजों को स्वास्थ्य लाभ मिला है। हमें यह लगता है कि इनमें से तकरीबन 700 लोगों को उपरोक्त लक्षण हो सकते हैं। इसलिए ये लोग पोस्ट कोविड केयर सेंटर में आ सकते हैं, ताकि इनका उपचार किया जा सके।