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रैलियों पर लगाई रोक का लोगों ने किया स्वागत, कहा-ईमानदार को डालें वोट

राज्य में विधानसभा चुनाव का बिगुल बजने के बाद एक तरफ राजनीतिक पार्टी और नेता अपने अपने स्तर पर चुनाव में डटे हुए हैं।

By JagranEdited By: Published: Thu, 20 Jan 2022 11:37 PM (IST)Updated: Thu, 20 Jan 2022 11:37 PM (IST)
रैलियों पर लगाई रोक का लोगों ने किया स्वागत, कहा-ईमानदार को डालें वोट
रैलियों पर लगाई रोक का लोगों ने किया स्वागत, कहा-ईमानदार को डालें वोट

जागरण संवाददाता, अमृतसर: राज्य में विधानसभा चुनाव का बिगुल बजने के बाद एक तरफ राजनीतिक पार्टी और नेता अपने अपने स्तर पर चुनाव में डटे हुए हैं। दूसरी तरफ चुनाव आयोग ने कोविड-19 की महामारी की तीसरी लहर को मध्य नजर रखते हुए सख्ती कर रखी है। उसके तहत कोई भी रोड शो सहित चुनावी रैलियों के साथ-साथ जलसों पर रोक लगा रखी है, जोकि सराहनीय प्रयास है।समाज व देश को प्यार करने वाले लोगों का भी चुनाव आयोग के आदेशों की पालना करना प्रशंसा का पात्र है। कोविड-19 की महामारी ने देश और दुनिया को बुरी तरह से प्रभावित कर रखा है। वर्तमान समय में महामारी की तीसरी लहर चल रही है, जिससे हर एक को बचना और बचाना चाहिए। चुनाव आयोग द्वारा चुनावी दिनों में रोड शो साहित रैलियां करने की पाबंदी लगाना सराहनीय है, क्योंकि जनता के स्वास्थ्य की सुरक्षा भी यकीन नहीं होनी चाहिए।

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रंजीत सिंह। महामारी के कहर में चुनावी रैलियां आयोजित होने से फिजूल खर्ची भी बढ़ेगी और संक्रमण के केस भी बढ़ेंगे। चुनाव आयोग द्वारा राज्य में चुनावी गतिविधियों को कानून के विरुद्ध जाकर ना करने की मनाही हर तरफ सराही जा रही है। सभी राजनीतिक पार्टियों के साथ-साथ लोगों को भी अपनी सेहत का ख्याल रखना चाहिए।

पवन कुमार। देश में कोई भी चुनाव हो, तो उसमें जरूरी नहीं है कि वोटरों का समर्थन हासिल करने के मकसद से बड़े-बड़े ही आयोजन किए जाएं। इंटरनेट के माध्यम से चुनाव प्रचार करने से समय व धन की बचत होती है, जिसमें एक प्रत्याशी को ही नहीं बल्कि वोटरों को किसी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ता है।

स्वर्ण सिंह। चुनाव आयोग का रैलियां स्थापित करना एक सराहनीय कदम है। सेहत विभाग की गाइडलाइंस का पालन न करने की वजह से संक्रमण के केस बढ़ते हैं। देश और समाज में जागरूकता बेहद जरूरी है। देश और समाज के हर वर्ग को महामारी को देखते हुए उससे बचने व बचाने के लिए जागरूक होना पड़ेगा, क्योंकि कोई भी नुकसान जागरूकता ना होने की वजह से ही होता है। किसी भी बीमारी से दवाई के साथ साथ जागरूकता से भी बचा जा सकता है।

अमित हांडा। भले ही चुनाव से पहले राजनीतिक पार्टियों के साथ-साथ नेता वेटरों को लुभाने के लिए अपने अपने स्तर पर प्रयास करते हैं। लोगों को प्रलोभनों में नहीं फंसना चाहिए और ईमानदार को ही वोट करना चाहिए। चुनाव में रैलियों पर रोक लगाना सराहनीय कदम है वहीं लोगों को भी अपनी सेहत के प्रति सोच बदलनी होगी।

कवलजीत सिंह। बाक्स-6 (फोटो:44)

बिना दबाव या लालच के वोट के अधिकार का इस्तेमाल करना चाहिए। साथ ही मतदाताओं को जात-पात व धर्म आदि का भेदभाव न करते हुए एक मजबूत लोकतंत्र के लिए सर्वश्रेष्ठ नेताओं का ही चुनाव करना चाहिए। वोटरों को चुनाव आयोग की बात को सही मानते हुए इमानदारी से वोट डालना चाहिए।

मोहित कपूर।


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