कांग्रेस का केंद्र पर हमला, कहा- SC के समक्ष उचित तौर पर क्यों नहीं पेश हुआ एससी/एसटी कानून
कांग्रेस ने केंद्र पर निशाना साधते हुए कहा कि एससी/एसटी कानून को सुप्रीम कोर्ट के समक्ष उचित तरीके से पेश क्यों नहीं किया गया।
नई दिल्ली (एएनआई)। कांग्रेस पार्टी ने सोमवार को दोहराया कि केंद्र ने सुप्रीम कोर्ट के समक्ष अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति उत्पीड़न रोकथाम कानून को उचित तरीके से पेश नहीं किया।
कांग्रेस नेता अभिषेक मनु सिंघवी ने बताया, ‘निश्चित तौर पर एससी/एसटी उत्पीड़न रोकथाम कानून पर रिव्यू पीटीशन दर्ज करायी जानी चाहिए और यह सरकार का अधिकार है। यह कानूनन वैध प्रक्रिया है। मूल सवाल यह है कि सुप्रीम कोर्ट के समक्ष मामले को उचित तरीके से प्रस्तुत करने में वे असमर्थ क्यों थे, मामले में जांच की आवश्यकता है।‘ उन्होंने कहा, पिछले तीन सालों में दलितों पर उत्पीड़न और अत्याचार के मामलों में बढ़ोत्तरी हुई है।
सिंघवी ने आगे कहा, ‘पिछले तीन सालों में हम दलितों के खिलाफ अत्याचार और कार्यवाही के गवाह रहे हैं। दो दिन पहले बाबा साहेब अंबेडकर की मूर्ति क्षतिग्रस्त किए जाने जैसी अचंभित करने वाली घटना हुई। हर दिन इस तरह की खबरें आ रही हैं, मुझे लगता है ऐसे माहौल के लिए सरकार को जवाब देना होगा।‘ इस बीच देश के कई हिस्सों में एससी/एसटी कानून पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ हिंसक प्रदर्शन किए जा रहे हैं।
20 मार्च को सुप्रीम कोर्ट ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति (उत्पीड़न रोकथाम) एक्ट, 1989 (एससी/एसटी एक्ट) से संबंधित एक अहम फैसला दिया जिसके तहत ईमानदार सरकारी अधिकारियों को इस एक्ट के जरिये झूठे केसों में फंसाने से संरक्षण देने की बात कहते हुए एक्ट के प्रावधानों में ढील दे दी गयी। कोर्ट का यह मानना था कि कई लोग इस एक्ट का इस्तेमाल ईमानदार सिविल सेवकों को ब्लैकमेल करने के लिए झूठे मामले में फंसाने के इरादे से भी कर रहे हैं।