तमिलनाडु सरकार लॉकडाउन के उल्लंघन और सीएए विरोधी आंदोलन से संबंधित दस लाख से अधिक मुकदमे वापस लेगी
मुख्यमंत्री ने कहा कि जो मामले हिंसा से जुड़े हैं जिन मामलों में पुलिस के काम में हस्तक्षेप किया गया या लॉकडाउन के दौरान गलत तरीके से ई-पास हासिल करने की कोशिश की गई उन्हें छोड़कर सभी मामले वापस ले लिए जाएंगे।
चेन्नई, प्रेट्र। तमिलनाडु की सरकार ने दस लाख से अधिक मुकदमों को वापस लेने की घोषणा की है। इनमें से ज्यादातर मुकदमे लॉकडाउन के उल्लंघन और सीएए विरोधी आंदोलन से संबंधित हैं। इस बात की घोषणा राज्य के मुख्यमंत्री के.पलानीस्वामी ने शुक्रवार को कदयानल्लूर में एक चुनावी बैठक के दौरान की। मुख्यमंत्री ने कहा कि जो मामले हिंसा से जुड़े हैं, जिन मामलों में पुलिस के काम में हस्तक्षेप किया गया या लॉकडाउन के दौरान गलत तरीके से ई-पास हासिल करने की कोशिश की गई, उन्हें छोड़कर सभी मामले वापस ले लिए जाएंगे।
पलानीस्वामी ने कहा कि प्रदेश में लाकडाउन उल्लंघन के करीब दस लाख मामले दर्ज किए गए हैं। इसी तरह नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध प्रदर्शन के दौरान डेढ़ हजार मामले दर्ज किए गए थे। इनमें से गंभीर प्रवृत्ति के मामलों को छोड़कर सभी मामले वापस ले लिए जाएंगे। उन्होंने बताया कि लोगों की अपील पर कुडनकुलम न्यूक्लियर प्लांट के विरोध के दौरान दर्ज मामलों में से भी कई मामले वापस ले लिए गए हैं।
घटाया गया चेन्नई मेट्रो का रेल किराया
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री क. पलानीस्वामी ने शनिवार को चेन्नई मेट्रो रेल किराये में 20 रुपए में कटौती की घोषणा की है। मेट्रो के पूरे रूट के लिए मौजूदा 70 रुपए का टिकट अब 50 रुपए का मिलेगा। किराये में कटौती की घोषणा 22 फरवरी से लागू होगी। अधिकृत घोषणा के अनुसार चेन्नई मेट्रो में दो किमी तक के लिए दस रुपए ही देने होंगे। जबकि दो से पांच किमी के लिए बीस रुपए और पांच से 12 किमी के लिए तीस रुपए देने होंगे। 12 से 21 किमी तक के लिए 40 रुपए और 21 किमी से 32 किमी तक पचास रुपए देने होंगे। मेट्रो किराए में रियायत को चुनावी परिप्रेक्ष्य में शहरी मतदाताओं को रिझाने का प्रयास माना जा रहा है।