प्रकाश जावड़ेकर बोले, दिशाहीन राजनीति कर रहा विपक्ष, हंगामा कर राज्यसभा को किया शर्मसार
जावड़ेकर ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि जब क्रांतिकारी श्रम कानूनों पर संसद में बहस चल रही थी तब विपक्षी दलों ने इसका बहिष्कार किया। राज्यसभा में जब दो कृषि विधेयकों पर मतविभाजन कराया जा रहा था तब उन्होंने सीट पर लौटने का उपसभापति का निर्देश नहीं माना।
नई दिल्ली, प्रेट्र। सत्तारूढ़ भाजपा ने विपक्ष की राजनीति को दिशाहीन बताते हुए कुछ महत्वपूर्ण विधेयकों के संसद से पारित होने को लेकर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से शिकायत करने पर उनका मजाक उड़ाया है। पार्टी के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि जब क्रांतिकारी श्रम कानूनों पर संसद में बहस चल रही थी, तब विपक्षी दलों ने इसका बहिष्कार किया। राज्यसभा में जब दो कृषि विधेयकों पर मतविभाजन कराया जा रहा था, तब उन्होंने अपनी सीट पर लौटने का उपसभापति का निर्देश नहीं माना। रविवार को हुए हंगामे पर केंद्रीय मंत्री ने कहा कि विपक्षी दलों ने राज्यसभा को शर्मसार किया है।
राज्यसभा में कृषि विधेयकों पर मतविभाजन के समय सीट पर लौटने का निर्देश नहीं माना
उन्होंने कहा कि विपक्ष की राजनीति दिशाहीन हो गई है। उन्हें संसद में बैठने और अपना विचार व्यक्त करने का अधिकार है। लेकिन, इसके बदले उन्होंने संसद का बहिष्कार किया। उन्होंने बाहर में प्रदर्शन किया और धरना दिया और अब वे राष्ट्रपति से मिल रहे हैं। जावड़ेकर ने कहा कि इस काम के लिए उनके पास 300 दिन हैं। संसद की बैठक 70-80 दिनों के लिए होती है, ताकि सदस्य वहां अपने विचार व्यक्त कर सकें। विपक्षी पार्टियों ने संसद का बहिष्कार किया और अब वे हर जगह शिकायत कर रही हैं।
किसानों को प्रस्तावित कानूनों से लाभ होगा
उल्लेखनीय है कि विपक्षी पार्टियां संसद से कृषि विधेयक पारित होने का विरोध कर रही हैं। उन्होंने राष्ट्रपति कोविंद से इन विधेयकों को अपनी मंजूरी नहीं देने का अनुरोध किया है। उन्होंने इन विधेयकों के पारित होने को असंवैधानिक भी बताया है। जावडेकर ने कहा कि किसानों को प्रस्तावित कानूनों से लाभ होगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य और कृषि मंडियों पर विपक्षी दलों का आरोप गलत साबित हुआ है। सरकार ने हाल ही में रबी फसलों का समर्थन मूल्य बढ़ाया है और अब उसकी खरीद करेगी।