Move to Jagran APP

केंद्र का बड़ा फैसला, कई देशों केेेे बाद अब भारत में भी मासूमों से दुष्कर्म की सजा मौत

दुनिया के कई देशों में दुष्‍कर्म के मामलों में अलग-अलग सजा का प्रावधान है। हालांकि ज्‍यादातर देशों में इसके लिए सजा ए मौत का प्रावधान है।

By Kamal VermaEdited By: Published: Sat, 21 Apr 2018 06:06 PM (IST)Updated: Sun, 22 Apr 2018 03:10 PM (IST)
केंद्र का बड़ा फैसला, कई देशों केेेे बाद अब भारत में भी मासूमों से दुष्कर्म की सजा मौत
केंद्र का बड़ा फैसला, कई देशों केेेे बाद अब भारत में भी मासूमों से दुष्कर्म की सजा मौत

नई दिल्‍ली [स्पेशल डेस्‍क]। भारत सरकार ने नाबालिग बच्चियों से दुष्‍कर्म के मामलों पर कठोर निर्णय लेते हुए पॉकसो एक्‍ट में बदलाव पर मुहर लगा दी है। इसके लिए पीएम आवास पर चली ढाई घंटे की बैठक के बाद यह फैसला लिया गया कि दुष्‍कर्म के दोषियों को फांसी देने के लिए अध्यादेश लाया जाएगा। इस बैठक में 12 साल से कम उम्र की बच्चियों से दुष्‍कर्म के मामलों में दोषियों को मौत की सजा दिए जाने का रास्ता साफ हो गया। इसके अलावा इस बैठक में यह निर्णय भी लिया गया है कि ऐसे मामलों में जांच तेजी से पूरी की जाएगी। आपको बता दें कि दुष्‍कर्म की हालिया घटना के बाद देश में काफी गुस्‍सा व्‍याप्‍त है। देश की जनता बार-बार इस तरह के मामलों में कठोर से कठोर सजा दिए जाने की मांग भी लगातार करती रही है। इसी जनभावना का सम्‍मान करते हुए केंद्र ने यह फैसला लिया है। 

loksabha election banner

पॉक्सो के मौजूदा प्रावधान

पॉक्सो के मौजूदा प्रावधानों के अनुसार, दुष्कर्म के दोषियों के लिए अधिकतम सजा उम्रकैद है और न्यूनतम सात साल की जेल है। 18 साल से कम उम्र के बच्चों से किसी भी तरह का यौन व्यवहार इस कानून के दायरे में आता है। इसके तहत अलग-अलग अपराध के लिए अलग-अलग सजा तय की गई है। यह कानून लड़के और लड़की को समान रूप से सुरक्षा प्रदान करता है। गौरतलब है कि देश के कुछ राज्‍य जिनमें राजस्‍थान, मध्‍य प्रदेश, हरियाणा और उत्‍तर प्रदेश शामिल हैं, में केबिनेट ने 12 वर्ष से कम उम्र की बच्‍ची के साथ दुष्‍कर्म के मामलों में फांसी की सजा पर मुहर लगा दी है। हालांकि इन्‍हें अभी राष्‍ट्रपति से मंजूरी मिलना बाकी है, लेकिन इससे यह बात साफ हो गई है कि राज्‍य इसको लेकर काफी सख्‍त रुख अपना चुके हैं।

आइए जानते हैं कब किस राज्‍य ने लिया ये फैसला

मध्‍य प्रदेश

पिछले वर्ष बच्चियों से दुष्‍कर्म के मामलों पर मध्‍य प्रदेश से सबसे पहले कठोर कदम उठाने का फैसला लिया था। मध्य प्रदेश सरकार ने बलात्कार के मामलों में दोषियों के खिलाफ बेहद कड़ी सजा की पहल करते हुए केबिनेट ने 12 साल तक की बच्चियों से रेप के मामले में दोषियों के खिलाफ फांसी की सजा का प्रस्ताव पारित कर दिया। इसके साथ ही केबिनेट ने गैंगरेप के मामले में दोषियों को मौत की सजा देने के एक प्रस्ताव को भी पास कर दिया। दु‍ष्‍कर्म के दोषियों के खिलाफ जुर्माने और सजा को बढ़ाने के लिए दंड संहिता में संशोधन के प्रस्ताव को भी शिवराज सरकार ने हरी झंडी दी थी।

राजस्‍थान

इसी वर्ष मार्च में नाबालिग से दुष्कर्म के दोषियों को मृत्युदंड देने के प्रावधान वाला विधेयक राजस्थान विधानसभा में पारित किया गया। विधानसभा में बहस के बाद दंड विधियां राजस्थान संशोधन विधेयक को पास किया गया था। इसके तहत 12 साल तक की उम्र की बालिकाओं के साथ दुष्‍कर्म के दोषियों के लिए मृत्युदंड का प्रावधान रखा गया है। पारित विधेयक में आईपीसी में 376 क और 376 घघ दो नई धाराएं जोड़ी गई हैं। 376 घ में सामूहिक दुष्कर्म को शामिल किया गया है। अब सामूहिक दुष्कर्म में शामिल हर व्यक्ति को मृत्युदंड देने का प्रावधान रखा गया है। यह विधेयक पारित करने वाला राजस्थान मध्य प्रदेश के बाद दूसरा राज्य बन गया है।

हरियाणा

इस वर्ष मार्च में ही हरियाणा ने भ ऐसा ही बड़ा फैसला लिया। 12 साल से कम उम्र की लड़की से दुष्‍कर्म के दोषी को फांसी की सजा के प्रावधान वाले बिल को हरियाणा विधानसभा ने पास कर दिया। इस बिल के मुताबिक अगर कोर्ट किसी को 12 साल से कम उम्र की बच्ची के साथ दुष्‍कर्म का दोष पाता है, तो उसे मौत की सजा तक सुनाई जा सकती है। 27 फरवरी को हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर की अध्यक्षता में हुई बैठक में दुष्‍कर्म से जुड़े कानूनों में बदलाव किए गए थे। इसमें 12 साल से कम उम्र की लड़कियों के रेप के दोषियों को मृत्यु दंड देने का प्रावधान किया गया था। सरकार ने महिला अपराधों से जुड़े भारतीय दंड संहिता के कानून की धारा 376, 376 डी, 354, 354 की धारा 2 में कुछ नई धाराएं जोड़ी गई हैं। आईपीसी की धारा 376 में एक नया सेक्शन जोड़ा गया है, जिसके मुताबिक हरियाणा में अब 12 साल से कम उम्र की लड़कियों से रेप के दोषी को मृत्युदंड देने का प्रावधान किया है।

उत्तर प्रदेश

नाबालिग से बलात्कार के मामले में उत्तर प्रदेश ने भी कठोर कदम उठाते हुए ऐसे मामलों में फांसी की सजा का प्रावधान किया है। इस बाबत कानून व्यवस्था और महिला सुरक्षा पर सरकार के मंत्रियों की अलग-अलग जिलों में हुई समीक्षा के बाद यह फैसला लिया गया है और जल्द ही केंद्र को भेजे जा रहे प्रस्ताव पर मुहर के बाद उत्तर प्रदेश में नाबालिग से दुष्कर्म पर फांसी की सजा होगी। यूपी के डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य ने बताया कि दुष्‍कर्म की बढ़ रही घटनाओं पर सरकार पूरी तरह से गंभीर है और कड़ी कार्रवाई के लिए अब कड़े कानून का प्रावधान किया जा रहा है। इसके लिए सरकार केंद्र को प्रस्ताव भेज रहे हैं और नाबालिग से दुष्कर्म पर फांसी की सजा वाला कानून लागू करेगे। योगी सरकार विधानसभा में दुष्‍कर्म बिल पास कर 12 साल से कम उम्र की बच्चियों से रेप पर फांसी की सजा का प्रस्ताव केंद्र को जल्द ही भेज देगी, जिसे मंजूरी मिलने के बाद यह कानून के रूप में लागू हो जाएगा।

आपको यहां पर बता दें कि दुनिया के कई देशों में दुष्‍कर्म के मामलों में अलग-अलग सजा का प्रावधान है। हालांकि ज्‍यादातर देशों में इसके लिए सजा ए मौत का प्रावधान है।

आईये जानें दुष्‍कर्म के दोषियों को कहां क्‍या सजा दी जाती है

1 – सऊदी अरब में किसी भी महिला दुष्‍कर्म करने वाले को बड़ी दर्दनाक सजा दी जाती है। यहां इसके गुनाहार को तब तक पत्थर मारे जाते हैं, जब तक वो मर न जाए।

2 – ईरान में बलात्कार पीड़ित महिला को न्याय दिलाने के लिए दोषियों को मौत की सजा दिए जाने का प्रावधान है। यहां दी जानेवाली मौत की सजा में 15 फीसदी मामले बलात्कार के ही होते हैं। हालांकि ईरान में महिला को मुआवजे के लिए राजी करने का भी प्रावधान है।

3 – मिस्र में भी दुष्‍कर्म के दोषियों को मौत की सजा देने का प्रावधान है। यहां बलात्कार करने वाले दोषियों को फांसी पर लटका दिया जाता है।

4- संयुक्त अरब अमीरात में बलात्कार के दोषी को सीधे मौत की सजा दी जाती है। ऐसे अपराधियों को महज 7 दिनों के भीतर फांसी पर लटका दिया जाता है।

5 – उत्तर कोरिया में बलात्कार के अपराधियों के प्रति किसी भी प्रकार की दया या सहानुभूति नहीं दिखाई जाती। यहां बलात्कार के लिए मौत की सजा दी जाती है। यहां दुष्‍कर्मी के सिर में गोली मारकर उसको मौत दिए जाने का प्रावधान है।

6 – अफगानिस्तान में इस्लामी कानून का पालन किया जाता है। जिसके अनुसार दुष्‍कर्मी को महज चार दिनों के अंदर गोली मारकर मौत के घाट उतार दिया जाता है।

7 –चीन में बलात्कार की सजा के तौर पर मौत की सजा दी जाती है। यहां बलात्कार के दोषियों को सजा देने में देरी नहीं की जाती है।

8 –ग्रीस में किसी भी प्रकार के शारीरिक शोषण, यौन उत्पीड़न, जान से मारने की धमकी देकर शारीरिक संबंध बनाने को बलात्कार की श्रेणी में रखा गया है। यहां पर इसके दोषियों को जेल में बेड़ियों में बांधकर रखा जाता है।

9 – नीदरलैंड नीदरलैंड में किसी भी प्रकार का यौन उत्पीड़न, जबरन यौन संबंध बनाने को दुष्‍कर्म माना जाता है। इसके अलावा जबरन चुंबन को भी इसी श्रेणी में रखा गया है। यहां इस अपराध के दोषियों को 4 से 15 साल तक की कैद की सजा का प्रावधान है।

10 – फ्रांस में बलात्कार के आरोपियों को 15 साल की सजा का प्रावधान है। अगर पीड़िता की उम्र 15 साल या उससे कम होती है तो आरोपी को 20 साल की सजा दिए जाने का प्रावधान है। इसके अलावा किसी भी प्रकार का शारीरिक या मानसिक उत्पीड़न करने पर आरोपी को आजीवन सजा दिए जाने का भी प्रावधान है।

11- पोलैंड में बलात्‍कार के आरोपी को सुअरों से कटवाया जाता है। हालांकि अब एक नया कानून आ चुका है जिसमें आरोपी को नपुंसक बना दिया जाता है।

12- इंडोनेशिया में बलात्कार के दोषियों को नपुंसक बनाने के साथ उनमें महिलाओं के हॉर्मोन्‍स डाल दिए जाने का प्रावधान है।

13- पाकिस्तान में पिछले ही साल एक बिल पास किया गया था जिसके तहत दुष्‍कर्म के दोषी को 25 साल की कैद की सजा का प्रावधान किया गया। इसके अलावा नाबालिग बच्‍चों और मानसिक रूप से विक्षिप्त से दुष्‍कर्म करने पर दोषी को मौत की सजा दिए जाने का प्रावधान है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.