कर्नाटक में गोहत्या विरोधी विधेयक को JDS का समर्थन नहीं: देवेगौड़ा
गोहत्या के विरोध में कर्नाटक विधानसभा के समक्ष एक विधेयक पेश किया जाना है लेकिन इस विधेयक को JDS ने अपना समर्थन देने से इनकार कर दिया है। JDS सुप्रीमो देवेगौड़ा ने कहा है कि इस विधेयक के जरिए भाजपा अशांति फैलाने का प्रयास कर रही है।
बेंगलुरु, एएनआइ। कर्नाटक के विधानसभा में आज गोहत्या विरोधी विधेयक को पेश किए जाने की संभावना है लेकिन जनता दल (सेक्युलर) ने स्पष्ट तौर से पहले ही इस विधेयक को समर्थन देने से इनकार कर दिया है। पूर्व प्रधानमंत्री ओर जनता दल (सेक्युलर) सुप्रीमो एचडी देवेगौड़ा (HD Deve Gowda) ने एक बार फिर स्पष्ट किया है कि उनकी पार्टी गोहत्या विरोधी विधेयक ( anti-cow slaughter bill) का समर्थन नहीं करेगी जो मंगलवार को कर्नाटक विधान परिषद में पेश की जाएगी। उन्होंने कहा कि इस विधेयक को पेश कर भाजपा सरकार समाज में अशांति फैलाने की कोशिश कर रही है। इससे लोगों के बीच सांप्रदायिकता भी फैल सकती है। इसलिए हमारी पार्टी इस विधेयक का विरोध करेगी।
पिछले बुधवार को कर्नाटक विधानसभा में विपक्षी दलों के हंगामे और वॉकआउट के बावजूद पशुओं के संरक्षण व हत्या विरोधी विधेयक 2020 को पारित किया गया। इस विधेयक के तहत तीन और 7 साल की कैद व 5 लाख तक के जुर्माने का प्रावधान है। बार-बार यही अपराध दोहराने पर 10 लाख का जुर्माना और 7 साल तक की कैद की सजा होगी।
विधेयक के प्रावधानों को विस्तृत तौर पर बताते हुए कर्नाटक के मंत्री जेसी मधुस्वामी (Karnataka Minister JC Madhuswamy) ने कहा, ' गायों और बछड़ों की हत्या की अनुमति नहीं है वहीं 13 साल से अधिक उम्र के भैंसों की हत्या के लिए अनुमति दी गई है। अवैध बिक्री और ट्रासपोर्ट भी दंडनीय है। यदि गाय को संक्रामक बीमारी है जो अन्य पशुओं में भी फैल सकती है तब इनकी हत्या की जा सकती है।'
देश के 11 राज्यों में गो हत्या पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। इन राज्यों के नाम हैं- जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश पंजाब, हरियाणा, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ और दौ केंद्र शासित राज्य दिल्ली और चंडीगढ़। इन राज्यों में गोहत्या करने पर सख्त सजा का प्रावधान है।