जेटली ने उठाया सवाल, कहा- विपक्ष के भीतर विरोधियों को निपटाने के लिए था ममता का नाटक
पूरा चोरतंत्र सत्ता पर काबिज होने के लिए एकजुट हो रहा है। ऐसे में 2019 के चुनाव मोदी बनाम अव्यवस्था या मोदी बनाम अराजकता के बीच ही होंगे।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। कोलकता में धरने पर बैठी ममता बनर्जी के समर्थन में विपक्ष की एकजुटता को केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली ने सत्ता पर कब्जे की चाह रखने वाला 'चोर तंत्र' बताया है। जेटली के अनुसार कोलकाता पुलिस आयुक्त से सीबीआइ की पूछताछ को लेकर ममता बनर्जी ने जिस तरह से प्रतिक्रिया व्यक्त की है, उससे साफ है उनके निशाने पर भाजपा नहीं, बल्कि विपक्ष में प्रधानमंत्री पद के दावेदार हैं।
फेसबुक पर 'चोरों का क्लब' शीर्षक से ताजा पोस्ट में जेटली ने सवाल उठाया कि सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर चिटफंड की जांच के सिलसिले में पुलिस आयुक्त से पूछताछ 'सुपर इमरजेंसी', 'संघवाद पर हमला' और 'संस्थानों की बर्बादी' कैसे हो गया। जबकि इसी मामले में सीबीआइ पहले भी गई लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है और कई जमानत पर हैं।
जेटली के अनुसार यह समझना बहुत भारी भूल होगी कि ममता बनर्जी ने सिर्फ एक पुलिस अधिकारी तक जांच की आंच पर पहुंचने पर ऐसा किया, बल्कि सच्चाई यह है कि बनर्जी ने ऐसा उच्चतम पद के लिए विपक्ष के दूसरे महत्वाकांक्षी नेताओं से ध्यान हटाने और खुद को विपक्ष के केंद्र में स्थापित करने के लिए किया
अरुण जेटली ने कहा कि धरने पर बैठने के बनर्जी के फैसले को कई विपक्षी पार्टियों का समर्थन मिला है जो शीर्ष सत्ता तक पहुंचने के लिए ख्वाहिशमंद हैं। इनमें से ज्यादातर के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच की जा रही है, कुछ पर मुकदमा चल रहा है और कुछ को अदालत दोषी भी ठहरा चुकी है। जाहिर है एक पूरा चोरतंत्र सत्ता पर काबिज होने के लिए एकजुट हो रहा है। ऐसे में 2019 के चुनाव 'मोदी बनाम अव्यवस्था' या 'मोदी बनाम अराजकता' के बीच ही होंगे।