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समान आचार संहिता पर विधि आयोग की रिपोर्ट को लेकर जयराम ने सरकार से मांगा जवाब

कांग्रेस नेता ने कहा कि विधि आयोग की सिफारिश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि फिलहाल इस मौके पर समान नागरिक संहिता न तो जरूरी है और न ही वांछनीय है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Tue, 17 Mar 2020 07:40 PM (IST)Updated: Tue, 17 Mar 2020 07:40 PM (IST)
समान आचार संहिता पर विधि आयोग की रिपोर्ट को लेकर जयराम ने सरकार से मांगा जवाब
समान आचार संहिता पर विधि आयोग की रिपोर्ट को लेकर जयराम ने सरकार से मांगा जवाब

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। केंद्रीय विधि आयोग की रिपोर्ट में विवादित समान आचार संहिता पर की गई सिफारिशों को लेकर पूर्व मंत्री जयराम रमेश ने सरकार की कार्यवाही के बारे में जानकारी मांगी। राज्यसभा में शून्यकाल के दौरान कांग्रेस सदस्य रमेश ने मंगलवार को पूछा 'समान नागरिक संहिता के बारे में विधि आयोग की रिपोर्ट पर सरकार ने क्या कदम उठाये हैं।'

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समान नागरिक संहिता न तो जरूरी है और न ही वांछनीय है: विधि आयोग

कांग्रेस नेता ने कहा कि विधि आयोग की सिफारिश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि फिलहाल इस मौके पर समान नागरिक संहिता न तो जरूरी है और न ही वांछनीय है। उन्होंने कहा कि विधि आयोग ने 2018 में परिवार संबंधी कानून में सुधार पर एक कंसलटेशन पेपर जारी किया था, जिसमें विवाह, तलाक, बच्चों का अभिभावक सहित विभिन्न विषयों को शामिल किया गया है। जयराम रमेश ने 185 पेज के कंसलटेशन पेपर में की गई सिफारिशों पर विस्तार से जिक्र करना चाहते थे, लेकिन शून्यकाल में समय कम होने की वजह से इस पर अलग से बहस कराने की मांग की।

कोरोना वायरस के कारण हिमाचल प्रदेश में होटलों की बुकिंग रद

शून्यकाल में ही द्रमुक के एम षणमुगम ने आर्थिक मंदी के कारण आईटी और वाहन कंपनियों में अस्थायी कर्मचारियों की छंटनी का मुद्दा उठाया। उन्होंने ऐसे कर्मचारियों के लिए मुआवजा दिए जाने की मांग की। कांग्रेस की विप्लव ठाकुर ने कोरोना वायरस के कारण हिमाचल प्रदेश में बड़े पैमाने पर होटलों की बुकिंग रद होने का मुद्दा उठाया।

होटल उद्योग पर गंभीर संकट

उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था के लिए होटल उद्योग और पर्यटन काफी अहम हैं। उन्होंने कहा कि होटल मालिक गंभीर संकट का सामना कर रहे हैं। उन्होंने राज्य को हुए नुकसान की भरपाई के लिए विशेष पैकेज दिए जाने की मांग की।

जरूरतमंद लोग सरकारी योजनाओं के लाभ से वंचित

तृणमूल कांग्रेस के मानस रंजन भूइयां ने आरोप लगाया कि सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण में त्रुटि के कारण बड़ी संख्या में जरूरतमंद लोग सरकारी योजनाओं के लाभ से वंचित हो गए हैं। उन्होंने नए सिरे से सर्वेक्षण कराए जाने की मांग की। बीजद के अमर पटनायक ने स्वास्थ्य क्षेत्र में अपर्याप्त खर्च किए जाने का मुद्दा उठाया और प्राथमिक और द्वितीयक स्वास्थ्य केंद्रों पर खर्च बढ़ाए जाने की मांग की।


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