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अयोध्‍या पर SC के फैसले पर पाकिस्‍तान की टिप्‍पणी को भारत ने किया खारिज, जानें क्‍या कहा

विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर करारा जवाब देते हुए कहा कि हम एक सिविल मामले पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पाक द्वारा की गई अनुचित और गंभीर टिप्पणियों को खारिज करते हैं।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Sat, 09 Nov 2019 09:25 PM (IST)Updated: Sat, 09 Nov 2019 09:29 PM (IST)
अयोध्‍या पर SC के फैसले पर पाकिस्‍तान की टिप्‍पणी को भारत ने किया खारिज, जानें क्‍या कहा
अयोध्‍या पर SC के फैसले पर पाकिस्‍तान की टिप्‍पणी को भारत ने किया खारिज, जानें क्‍या कहा

नई दिल्‍ली, एएनआइ। अयोध्‍या के मामले पर आए सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पाकिस्‍तान की प्रतिक्रिया पर विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर करारा जवाब देते हुए कहा कि हम एक सिविल मामले पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर पाकिस्तान द्वारा की गई अनुचित और गंभीर टिप्पणियों को खारिज करते हैं। यह मामला भारत के लिए पूरी तरह से आंतरिक है।

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यह सभी धर्मों, अवधारणाओं के लिए कानून और समान सम्मान के शासन से संबंधित है जो उनके लोकाचार का हिस्सा नहीं है। इसलिए जबकि पाकिस्तान में समझ की कमी आश्चर्यजनक नहीं है। नफरत फैलाने के स्पष्ट इरादे के साथ हमारे आंतरिक मामलों पर टिप्पणी करने के लिए उनकी मनोविकारी मजबूरी निंदनीय है।  

अयोध्‍या के फैसले पर पाक की टिप्‍पणी

पाकिस्तानी विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने अयोध्या पर फैसले के समय पर सवाल उठाया है। कहा कि करतारपुर कॉरीडोर के उद्घाटन के मौके पर आए इस फैसले से उन्हें गहरा दुख पहुंचा है। कहा, करतारपुर कॉरीडोर का उद्घाटन खुशी का मौका था लेकिन भारत ने इस पर पानी फेरने में कोई कसर नहीं छोड़ी। पाकिस्तान के अन्य नेताओं और सेना ने भी कमोबेश ऐसी ही प्रतिक्रिया व्यक्त की है।

डॉन न्यूज टीवी पर दी प्रतिक्रिया में विदेश मंत्री कुरैशी ने कहा, इस फैसले के लिए क्या कुछ दिन और इंतजार नहीं किया जा सकता था। इसने खुशी के मौके को दुख वाला दिन बना दिया। लेकिन आप (भारत सरकार) ऐसा करके लोगों का ध्यान नहीं मोड़ सकते। एक संवेदनशील और विवादित मसले पर इस तरह का फैसला देकर आप खुशी नहीं मना सकते। कहा, भारत के मुसलमान पहले से ही दबाव में जी रहे हैं, सुप्रीम कोर्ट का ताजा फैसला उनके जीवन पर दबाव को और बढ़ाएगा।

भारत के खिलाफ जहर उगलने में आगे रहने वाले पाकिस्तान के विज्ञान एवं तकनीक मामलों के मंत्री फवाद चौधरी ने भारतीय कोर्ट के फैसले को अपमानजनक, अवैध और अनैतिक बताया है। प्रधानमंत्री इमरान खान की सूचना मामलों की विशेष सहायक फिरदौस आशिक अवान ने कहा है कि भारतीय कोर्ट ने संदेश दिया है कि वह स्वतंत्र नहीं है। पाकिस्तान ने करतारपुर कॉरीडोर बनाकर अल्पसंख्यकों के प्रति अपनी सोच का परिचय दिया है, जबकि भारत ने अयोध्या पर फैसला सुनाकर अल्पसंख्यक मुस्लिमों के प्रति अपनी नीति उजागर की है।


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