कोरोना से पीड़ित मतदाता डाक मतपत्र के जरिये डाल सकेंगे वोट, बिहार विधानसभा चुनाव में लागू होगा यह नियम
चुनाव आयोग ने हाल ही में मंत्रालय से संपर्क किया था ताकि कोविड-19 संक्रमित मतदाताओं को अपने मताधिकार का प्रयोग करने के लिए डाक मतपत्र का उपयोग करने की अनुमति दी जा सके।
नई दिल्ली, प्रेट्र। इस साल के अंत में होने वाले बिहार विधानसभा चुनाव में कोविड-19 से संक्रमित मतदाताओं को डाक मतपत्र का उपयोग करके अपना वोट डालने की अनुमति दी जाएगी। केंद्रीय कानून मंत्रालय के विधायी विभाग ने चुनाव नियमों में बदलाव किया है। मंत्रालय के एक शीर्ष अधिकारी ने मंगलवार को कहा कि इसके तहत कोविड-19 से पीड़ित लोगों को डाक मतपत्र का उपयोग करने की अनुमति दी जाएगी।
चुनाव आयोग ने हाल ही में मंत्रालय से संपर्क किया था ताकि कोविड-19 संक्रमित मतदाताओं को अपने मताधिकार का प्रयोग करने के लिए डाक मतपत्र का उपयोग करने की अनुमति दी जा सके। अधिकारी ने कहा कि यह एक सही मामला था और हम नियमों को बदलने के लिए सहमत हो गए। हाल ही में हमने 80 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों और दिव्यांग लोगों को डाक मतपत्र का उपयोग करने की अनुमति दी थी। उसी सूची में हमने कोविड-19 संक्रमित या इसके लक्षणों वाले लोगों को शामिल किया है।
रिटर्निंग अधिकारी से फॉर्म 12-डी भराना पड़ाता है
दिव्यांग और 80 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को डाक मतपत्र सुविधा का लाभ उठाने के लिए स्थानीय रिटर्निंग अधिकारी से फॉर्म 12-डी भराना पड़ता है। भारत में कोरोना वायरस के प्रकोप के बाद बिहार पहला राज्य होगा जहां विधानसभा चुनाव होगा।
चुनाव आयोग ने मौजूदा प्रावधानों में संशोधन करने के लिए सरकार से संपर्क किया था, क्योंकि महामारी वर्ष के अंत तक जारी रह सकती है। बिहार में लगभग 7.20 करोड़ मतदाता हैं और 243 सदस्यीय विधानसभा का कार्यकाल इस वर्ष 29 नवंबर को समाप्त हो रहा है। नई विधानसभा का गठन इससे पहले होना है।