दूसरे विश्व युद्ध के बाद पहली बार फ्रांस ने रोम से राजदूत को वापस बुलाया
फ्रांस ने रोम से अपने राजदूत को वापस बुला लिया है। 1940 में इटली के फासीवादी नेता मुसोलिनी के युद्ध की घोषणा के बाद फ्रांस ने पहली बार यह कठोर कदम उठाया है।
जेएनएन, नई दिल्ली। फ्रांस ने रोम से अपने राजदूत को वापस बुला लिया है। 1940 में इटली के फासीवादी नेता मुसोलिनी के युद्ध की घोषणा के बाद फ्रांस ने पहली बार यह कठोर कदम उठाया है। फ्रांस और इटली रिश्ते में पिछले एक महीने से तनाव चल रहा है। फ्रांस के विदेश मंत्री ने इटली सरकार की ओर से लगातार लगाए जा रहे आरोपों और किए जा रहे विचित्र दावों को जिम्मेदार बताया है।
इटली के उपप्रधानमंत्री मैतियो साल्विनी और फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों एक दूसरे पर आरोप लगाते रहे हैं। पिछले महीने इटली के उपप्रधानमंत्री ने कहा था कि फ्रांस की जनता जल्द ही एक इस राष्ट्रपति से छुटकारा पा लेंगे। जवाब में मैक्रों ने इटली में उभरते राष्ट्रवाद को कोढ़ बताया था। उन्होंने कहा था कि अगर साल्विनी उन्हें दुश्मन की तरह देखते हैं तो वे सही हैं।
इन दोनों यूरोपीय देशों के बीच जून 2018 से संबंधों में कड़वाहट शुरू हो गई थी। उस समय इटली में फाइव स्टार मूवमेंट में तेजी आई थी। दक्षिणपंथी लीग पार्टी ने मिलीजुली सरकार का गठन कर लिया था।