Move to Jagran APP

जब हिंदी फिल्‍मी सितारों ने बनाई थी राजनीतिक पार्टी, देव आनंद बने थे अध्‍यक्ष

बॉलीवुड की राजनीतिक नेशनल पार्टी ने 1979 में पहली रैली मुंबई के शिवाजी पार्क में की थी। रैली में लोगों का जनसमूह देख मुख्यधारा की राजनीतिक पार्टियां हैरान रह गई थी।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Sun, 24 Mar 2019 10:05 AM (IST)Updated: Sun, 24 Mar 2019 10:15 AM (IST)
जब हिंदी फिल्‍मी सितारों ने बनाई थी राजनीतिक पार्टी, देव आनंद बने थे अध्‍यक्ष
जब हिंदी फिल्‍मी सितारों ने बनाई थी राजनीतिक पार्टी, देव आनंद बने थे अध्‍यक्ष

अंकुर अग्निहोत्री। बात 1975 में इमरजेंसी के दौर की है। कांग्रेस की सरकार ने जिस तरह की सख्ती और क्रूरता दिखाई उससे पूरा देश हिल गया था। फिल्मी जगत भी इससे अछूता नहीं था। लिहाजा, 1977 में जब आपातकाल के बाद चुनाव आए तो फिल्मी सितारों ने एकजुट होकर कांग्रेस को सत्ता से बेदखल करने के लिए नेशनल पार्टी का गठन किया था। पार्टी के अध्यक्ष सदाबहार अभिनेता देवानंद थे। 

loksabha election banner

पार्टी का गठन
1979 में जब जनता सरकार का पतन हुआ और नए चुनाव का एलान हुआ तो इस बार बॉलीवुड ने पूरी गंभीरता से राजनीतिक दल का गठन करने का फैसला किया। लिहाजा, चार सितंबर 1979 को मुंबई के ताजमहल होटल में हुई एक प्रेस कांफ्रेंस में ‘नेशनल पार्टी’ के गठन की घोषणा की गई। इसी के साथ पार्टी का घोषणापत्र भी जारी किया गया।

पार्टी का मुख्यालय
इस पार्टी का मुख्यालय वी. शांताराम के मुंबई के परेल स्थित राजकमल स्टूडियो में बनाया गया। हालांकि इसका सक्रिय संचालन देवानंद के दफ्तर से ही होता था।

जुड़े सितारे
देवानंद और उनके भाई विजय आनंद के अलावा निर्माता-निर्देशक वी. शांताराम, जीपी सिप्पी, श्रीराम बोहरा, आइएस जोहर, रामानंद सागर, आत्माराम, शत्रुघ्न सिन्हा, धर्मेंद्र, हेमामालिनी, संजीव कुमार जैसे अनेक सितारे भी प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से पार्टी से जुड़ गए। इन तमाम लोगों ने एकमत होकर देवानंद को पार्टी का अध्यक्ष चुन लिया।

पार्टी की ताकत
फिल्मी जगत से जुड़े लोगों की पार्टी होने के कारण बड़ी संख्या में लोग इससे जुड़ने लगे थे। जनता सरकार और कांग्रेस काफी चिंतित थी। मुंबई के शिवाजी पार्क में नेशनल पार्टी की रैली में उमड़ी भीड़ ने इस चिंता को और बढ़ा दिया था। प्रसिद्ध अभिनेता आइएस जोहर ने तो बाकायदा घोषणा ही कर दी थी कि वह जनता सरकार में स्वास्थ्य मंत्री राज नारायण के खिलाफ चुनाव लड़ेंगे और उन्हें बुरी तरह हराएंगे। उनके इस बयान से चिढ़कर राज नारायण ने यहां तक कह दिया था कि अगर जोहर अपनी हरकतों से बाज नहीं आये तो मैं उनके हाथ-पैर तोड़ दूंगा।

पार्टी का पतन
सब कुछ ठीक चल रहा था। लेकिन जनता सरकार और कांग्रेस के बड़े नेताओं ने जीपी सिप्पी और रामानंद सागर जैसे असरदार फिल्मी हस्तियों को नसीहत दी कि चुनाव के बाद होने वाली मुश्किल से फिल्म उद्योग को बचाना है तो वे इस ‘तमाशे’ को बंद कर दें। धीरे- धीरे नेशनल पार्टी में सक्रिय फिल्मी कलाकार किनारा करने लगे और देवानंद लगभग अकेले ही रह गए। ऐसे में उन्होंने नेशनल पार्टी के विचार को खामोशी से दफन कर दिया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.