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चिदंबरम ने कहा- राजस्थान के राज्यपाल तीसरी बार नहीं माने तो कानूनी विकल्प अपनाएगी कांग्रेस

भाजपा पायलट खेमे को अधिक से अधिक समय मुहैया कराने के लिए राज्यपाल के संवैधानिक पद का दुरुपयोग कर रही है।

By Bhupendra SinghEdited By: Published: Tue, 28 Jul 2020 08:39 PM (IST)Updated: Tue, 28 Jul 2020 08:39 PM (IST)
चिदंबरम ने कहा- राजस्थान के राज्यपाल तीसरी बार नहीं माने तो कानूनी विकल्प अपनाएगी कांग्रेस
चिदंबरम ने कहा- राजस्थान के राज्यपाल तीसरी बार नहीं माने तो कानूनी विकल्प अपनाएगी कांग्रेस

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। राजस्थान की सियासी लड़ाई में आर-पार के लिए विधानसभा सत्र बुलाने के गहलोत सरकार के प्रस्तावों को नकार रहे राज्यपाल के रुख पर कानूनी विकल्प अपनाने को लेकर कांग्रेस में मंत्रणा शुरू हो गई है। सत्र बुलाने से इनकार कर रहे राज्यपाल के कदम को संविधान और कानूनी के खिलाफ मान रही कांग्रेस इस मामले में अदालत जाने से पहले विशेष सर्तकता बरत रही है।

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यदि राज्यपाल ने तीसरे प्रस्ताव को नहीं माना तो खटखटाएंगे कोर्ट का दरवाजा

पार्टी ने संकेत दिए हैं कि विधानसभा सत्र बुलाने के गहलोत सरकार के तीसरे प्रस्ताव को भी राज्यपाल ने नहीं माना तब अदालत का दरवाजा खटखटाने का ही विकल्प होगा।

राज्यपाल से सत्र बुलाने को लेकर गहलोत मंत्रिमंडल ने पारित किया तीसरी बार प्रस्ताव 

सत्र बुलाने से इनकार को लेकर लगातार कांग्रेस के शीर्ष कानूनी रणनीतिकारों से हो रही चर्चा के अनुरूप मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मंगलवार को विधानसभा बुलाने का प्रस्ताव राज्यपाल कलराज मिश्र को भेजा दिया है। पार्टी के कानूनी विशेषज्ञों ने राज्यपाल की ओर से उठाए गए बिंदुओं का मजबूत संवैधानिक और कानूनी प्रावधानों के साथ जवाब दिए जाने का सुझाव दिया। समझा जाता है कि इन्हीं सुझावों के हिसाब से गहलोत सरकार ने मंत्रिमंडल से तीसरी बार प्रस्ताव पारित कर राज्यपाल से सत्र बुलाने का आग्रह किया है।

तीसरी बार कैबिनेट के प्रस्ताव को ठुकराना राज्यपाल के लिए आसान नहीं

पार्टी सूत्रों ने कहा कि केंद्र सरकार और भाजपा के निर्देशों पर राज्यपाल संविधान और कानून को ताक पर रखकर भले सत्र बुलाने से आनाकानी कर रहे हैं मगर तीसरी बार कैबिनेट के प्रस्ताव को ठुकराना उनके लिए भी आसान नहीं है। राज्यपाल के रुख को कांग्रेस वैसे भी आधिकारिक तौर पर भाजपा के इशारे पर की जा रही कार्रवाई करार दे चुकी है।

भाजपा राज्यपाल के संवैधानिक पद का दुरुपयोग कर रही

वहीं पार्टी के रणनीतिकारों का कहना है कि सचिन पायलट के साथ बागी 19 कांग्रेस विधायकों के आंकड़े में इजाफे की कोई गुंजाइश नहीं है। इसीलिए भाजपा पायलट खेमे को अधिक से अधिक समय मुहैया कराने के लिए राज्यपाल के संवैधानिक पद का दुरुपयोग कर रही है।

चिदंबरम ने साधा भाजपा और पायलट पर निशाना, कहा- राज्यपाल सत्र बुलाने से परहेज क्यों कर रहे

पूर्व गृहमंत्री कांग्रेस नेता पी चिदंबरम ने इसको लेकर भाजपा और पायलट दोनों पर निशाना साधते हुए कहा कि जब सचिन खुद को अभी भी कांग्रेसी बता रहे हैं तो फिर विधानसभा में गहलोत को परास्त करने के लिए क्यों सामने नहीं आ रहे। इसी तरह राज्यपाल केंद्र और भाजपा की मंशा के अनुरूप सत्र बुलाने से परहेज क्यों कर रहे।

चिदंबरम ने कहा- विधायकों की तोड़-फोड़ करने के लिए भाजपा को और समय दे रहे है राज्यपाल

चिदंबरम के मुताबिक मकसद साफ है कि राजस्थान में विधायकों की तोड़-फोड़ व खरीद फरोख्त के प्रयासों के लिए भाजपा को और समय मिल सके। बहरहाल गहलोत सरकार के तीसरे प्रस्ताव पर राज्यपाल का रुख देखने के बाद कांग्रेस इस सियासी लड़ाई के अगले मोर्चे का फैसला करेगी।


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