पश्चिम बंगाल में निजी वाहनों से स्कूल जाने पर लगाया गया प्रतिबंध हटा
स्कूल शिक्षा विभाग ने एक अधिसूचना जारी कर स्कूलों से कहा था कि एक अप्रैल से छात्र या तो कार पूल करके स्कूल आएं या स्कूल बस से आएं।
जागरण संवाददाता, कोलकाता। बंगाल सरकार ने वाहनों से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए कोलकाता के 26 प्रमुख स्कूलों में बच्चों के आने-जाने के लिए पूल कार की अनिवार्य व्यवस्था किए जाने से संबंधित सर्कुलर (अधिसूचना) को वापस ले लिया है। राज्य के शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी ने शनिवार को इसकी जानकारी देते हुए बताया कि जनवरी के अंतिम सप्ताह में स्कूल शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने बिना राज्य सरकार को सूचित किए व बगैर अनुमति के यह सर्कुलर जारी किया था।
मुख्यमंत्री के हस्तक्षेप के बाद स्कूल शिक्षा विभाग ने वापस लिया सर्कुलर
राज्य के शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी ने बताया कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को इस बारे में पता चलने पर उन्होंने तुरंत मेरे सामने इस मुद्दे को उठाया और हमने स्कूल शिक्षा विभाग को तत्काल प्रभाव से यह सर्कुलर वापस लेने को कहा।
राज्य सरकार ने अनिवार्य पूल कार को लेकर जारी सर्कुलर लिया वापस
शिक्षा मंत्री ने यह भी कहा कि मैं ऐसे सर्कुलर जारी करने के पीछे आवश्यकता को समझने में पूरी तरह विफल रहा। पार्थ ने कहा कि हमें यह भी नहीं पता कि अन्य शहरों में पहले ऐसी कोई मिसाल या व्यवस्था है या नहीं। वहीं, स्कूल शिक्षा विभाग के एक अधिकारी ने भी कहा कि वाहनों से होने वाले प्रदूषण को कम करने के उद्देश्य से पूल कार की अनिवार्यता को लेकर जारी अधिसूचना को वापस ले लिया गया है। हालांकि, इसे वापस लेने के पीछे कारण बताने से उन्होंने साफ इन्कार किया।
पिछले सप्ताह महानगर के 26 स्कूलों को बच्चों के आने के लिए दिया था निर्देश
उल्लेखनीय है कि जनवरी के अंतिम हफ्ते में स्कूल शिक्षा विभाग ने एक अधिसूचना जारी कर कोलकाता के 26 प्रमुख स्कूलों के अधिकारियों से कहा था कि वे अनिवार्य रूप से ऐसी व्यवस्था शुरू करें जिसमें एक अप्रैल से छात्र या तो कार पूल करके स्कूल आएं या स्कूल बस से आएं। यानी असाधारण व आपातकालीन परिस्थितियों को छोड़कर स्कूल आने के लिए व्यक्तिगत वाहनों के उपयोग को प्रतिबंधित कर दिया था।