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पाकिस्‍तान पीएम के बयान पर बोले नायडू, राजनैतिक फायदे के लिए सेना से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं

आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू का कहना है कि हम स्वार्थ के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में डाला जाना बर्दाश्त नहीं करेंगे। राजनैतिक फायदे के लिए सेना से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं करेंगे।

By Tilak RajEdited By: Published: Wed, 20 Feb 2019 10:35 AM (IST)Updated: Wed, 20 Feb 2019 12:26 PM (IST)
पाकिस्‍तान पीएम के बयान पर बोले नायडू, राजनैतिक फायदे के लिए सेना से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं
पाकिस्‍तान पीएम के बयान पर बोले नायडू, राजनैतिक फायदे के लिए सेना से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं

नई दिल्‍ली, एएनआइ। कश्‍मीर के पुलवामा में सीआरपीएफ के काफिले पर आतंकी हमले पर राजनीति थमने का नाम नहीं ले रही है। पाकिस्तान के पीएम इमरान खान के बयान पर आंध्र प्रदेश के मुख्‍यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने मोदी सरकार को घेरने की कोशिश की है। उनका कहना है कि हम स्वार्थ के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में डाला जाना बर्दाश्त नहीं करेंगे और न ही राजनैतिक फायदे के लिए सेना से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं करेंगे।

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चंद्रबाबू नायडू ने कहा, 'पाकिस्‍तान के प्रधानमंत्री इमरान खान के बयान से कई शंकाएं उत्पन्न हुई हैं। सत्ताधारी पार्टी की अक्षमता के कारण राष्ट्रीय सुरक्षा को खतरे में हैं। भारतीय जनता पार्टी के नेता अपनी हरकतों से देश के सम्‍मान को ठेस पहुंचाने का काम करते दिख रहे हैं। अपने फायदे के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा से समझौता बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। राजनीतिक हितों की रक्षा के लिए सेना का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए। आतंकी हमलों पर कड़ी कार्रवाई की जाए।'

बता दें कि पुलवामा आतंकी हमले के बाद पाकिस्‍तान के प्रधानमंत्री इमरान खान के जवाब का विदेश मंत्रालय ने पलटवार किया है। विदेश मंत्रालय का कहना है कि हमें इस बात का कोई आश्चर्य नहीं है कि पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने पुलवामा में हमारे सुरक्षा बलों पर हमले को आतंकवाद की कार्रवाई मानने से इनकार कर दिया। पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने न तो इस जघन्य कृत्य की निंदा की और न ही शहीदों के परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट की।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्‍ता रवीश कुमार ने कहा कि पाकिस्‍तान के पीएम ने जैश-ए-मुहम्‍मद के साथ-साथ आतंकवादी द्वारा किए गए दावों को नजरअंदाज कर दिया, जिन्होंने इस जघन्य अपराध को अंजाम दिया। यह एक सर्वविदित तथ्य है कि जैश-ए-मुहम्‍मद और उसके नेता मसूद अजहर पाकिस्तान में रह रहे हैं। कार्रवार्इ के लिए पाकिस्‍तान के पास पर्याप्‍त साक्ष्‍य है। अगर भारत सुबूत देता है तो पाकिस्तान पीएम ने इस मामले की जांच करने की पेशकश की है। यह एक असंतोषजनक बहाना है। इससे पहले 26/11 को मुंबई में हुए भीषण हमले में पाक को सुबूत मुहैया कराया गया था। इसके बावजूद मामले में 10 साल से अधिक समय तक कोई प्रगति नहीं हुई है। उसी तरह, पठानकोट में आतंकी हमला हुआ, जिसमें कोई प्रगति नहीं हुई।

गौरतलब है कि पुलवामा आतंकी हमले पर मंगलवार को पाकिस्‍तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि भारत बिना सबूत के हमारे ऊपर आरोप लगा रहा है। उन्‍होंने कहा कि मैं इस आरोप पर भारत सरकार के लिए जवाब दे रहा हूं। इस हमले में हमारा कोई हाथ नहीं है। हम आतंकवाद पर भारत के साथ बातचीत करने के लिए भी तैयार हैं। इमरान ने कहा कि भारत हमेशा आतंकवाद पर बातचीत करने को कहता है, हम आतंकवाद पर बातचीत करने को तैयार हैं। मैं एक बार फिर बताना चाहता हूं कि ये नया पाकिस्‍तान है। नए पाकिस्‍तान में दहशतगर्दी की कोई जगह नहीं है। पाकिस्‍तान हर जांच के लिए तैयार है। उन्‍होंने कहा कि कोई भी जंग करना आसान है, लेकिन खत्‍म करना नहीं। जंग के बाद ये कहां तक जाएगी, कोई नहीं बता सकता।


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