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जानें, नेपाल से सटे भारत के इन जिलों में क्‍यों बढ़ाई गई सुरक्षा Gorakhpur News

एडीजी जोन दावा शेरपा ने नेपाल सीमा से लगने वाले जिलों के पुलिस कप्तानों को पत्र लिखकर सीमाई इलाके में लगातार गश्त बढ़ाने का निर्देश दिया है।

By Pradeep SrivastavaEdited By: Published: Wed, 15 Jan 2020 04:40 PM (IST)Updated: Thu, 16 Jan 2020 04:58 PM (IST)
जानें, नेपाल से सटे भारत के इन जिलों में क्‍यों बढ़ाई गई सुरक्षा Gorakhpur News
जानें, नेपाल से सटे भारत के इन जिलों में क्‍यों बढ़ाई गई सुरक्षा Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। गणतंत्र दिवस को देखते हुए नेपाल से लगने वाली सीमा पर गश्त बढ़ दी गई है। ताकि देश में आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने की फिराक में रहने वाले देश विरोधी तत्व दोनों देशों के बीच खुली सीमा का दुरपयोग न सकें। एडीजी दावा शेरपा ने नेपाल सीमा से लगने वाले जिलों के पुलिस कप्तानों को पत्र लिखकर सीमाई इलाके में लगातार गश्त करने और सीमा की सुरक्षा में तैनात एसएसबी से तालमेल बिठाकर निगहबानी करने का निर्देश दिया है। दोनों देशों को जोडऩे वाले पगडंडी रास्तों पर खासतौर से नजर रखने का निर्देश दिया है।

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इन जिलों से सटी है नेपाल की सीमा

जोन के छह जिलों कुशीनगर, महराजगंज, सिद्धार्थनगर, बहराइच, बलरामपुर और श्रावस्ती जिले की सीमा नेपाल से लगती है। दोनों देशों के बीच आवाजाही के लिए अधिकृत रास्ते निर्धारित हैं लेकिन दोनों देशों में सीमाई इलाके में रहने वाले ग्रामीणों की रोजमर्रा की जरूरतों के लिए दिनभर में कई बार एक देश से दूसरे देश में आवाजाही लगी रहती है। इसके लिए उन्होंने अपनी सुविधानुसार पगडंडी रास्ते बना रखे हैं। अधिकृत रास्तों पर तो हर समय सुरक्षा के कड़े इंतजाम रहते हैं, लेकिन पगडंडी रास्तों पर सुरक्षा व्यवस्था करना संभव नहीं है। हालांकि एसएसबी जवान लगातार गश्त कर इन रास्तों पर नजर रखते हैं लेकिन इन रास्तों से आवाजाही नहीं रुक पाती।

पगडंडी रास्‍तों से होती है आवाजाही

आपराधिक या आतंकी गतिविधियों को अंजाम देने वाले तत्व पगडंडी रास्तों का ही इस्तेमाल कर ही देश की सीमा में प्रवेश करते हैं। इसको देखते हुए एडीजी जोन ने 26 जनवरी के मद्देनजर अलर्ट जारी किया है। उन्होंने पगडंडी रास्तों के साथ ही सीमाई इलाके में संदिग्ध नजर आने वालों पर विशेष नजर रखने का निर्देश दिया है। वैसे 22 दिसंबर को सिलीगुड़ी में देखे गए दो आतंकियों के कुशीनगर, महराजगंज या सिद्धार्थनगर जिले से होकर नेपाल भागने की खुफिया एजेंसियों से मिले इनपुट के बाद सीमा पर पहले से ही चौकसी बरती जा रही है। एडीजी जोन ने इसे और बढ़ाने का निर्देश दिया है।

फैक्‍ट फाइल

  • 1751 किमी लंबी है भारत से लगने वाली नेपाल की सीमा
  • 454 किमी उत्तर प्रदेश से लगती है नेपाल की सीमा
  • 300 किमी के करीब सीमा गोरखपुर जोन से जुड़ी है

104 पगडंडिया महराजगंज में की गई हैं चिह्नितनेपाल सीमा पर पहले से ही चौकसी बरती जा रही है। गणतंत्र दिवस को देखते हुए इसे और बढ़ा दिया गया है। किसी भी अवांछित तत्व को खुली सीमा का दुरपयोग नहीं करने दिया जाएगा। - दावा शेरपा, एडीजी जोन 


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