देशां म्ह देश हरियाणा, जित दूध दही का खाना, इंटरनेशनल शूटर मनु दुह रही हैं गाय का दूध
इंटरनेशनल शूटर मनु भाकर अपने गांव में गाय का दूध दुह रही हैं। इससे पहले उन्होंने यहां ट्रैक्टर भी चलाया है।
झज्जर, अमित पोपली। हर समय खुशमिजाज रहने वाली अंतरराष्ट्रीय निशानेबाज मनु भाकर अपने ग्रामीण परिवेश से जुड़ी जिंदगी को जीने का कोई मौका नहीं चूकतीं। दरअसल, निशानेबाजी की स्पर्धा से जुड़ने के बाद अनलॉक तक के समय में पहली दफा ऐसा हो रहा है कि लंबे समय तक मनु ने परिवार के साथ समय बिताया हो। अक्सर अपने इवेंट्स या फिर तैयारियों के लिए वे घर से बाहर रहती हैं, लेकिन कोरोना वायरस महामारी के दौरान हुए लॉकडाउन के कारण उनको घर पर रहना पड़ रहा है।
सोशल मीडिया पर भी खासा सक्रिय रहने वाली मनु ने पिछले दिनों पेड़ से अमरूद तोड़ने, खेतों में ट्रैक्टर चलाने, घुड़सवारी करने, पेंटिंग करने सहित मास्क आदि तैयार करने की वीडियो डालीं। ट्विटर पर अपलोड की गई ताजा वीडियो में मनु गांव गोरिया में अपनी चाची नीलम के साथ गाय का दूध दुहती हुई दिखाई दे रही हैं। वीडियो को शेयर करते हुए उन्होंने लिखा, 'देशां म्ह देश हरियाणा, जित दूध दही का खाना। जय जवान, जय किसान।' इसे लोग खूब पसंद कर रहे हैं।
ध्यान केंद्रित करने में मिल रही मदद
देशां मै देश हरियाणा, जीत दूध दही का खाना।
जय जवान, जय किसान।।।#Haryana #gaumata #villagediaries @BhakerSumedha pic.twitter.com/Yo4NPoXSl6— Manu Bhaker (@realmanubhaker) August 9, 2020
पूरे दिन की कार्ययोजना में मनु करीब एक घंटा योग कर रही हैं। घर पर रहकर छह से सात घंटे के कड़े अभ्यास के अलावा पेंटिंग के लिए जरूर समय निकाल रही हैं। परिवार के साथ जब खेत में जाने का मौका मिलता है तो कतई नहीं चूकतीं। मनु के मुताबिक, कोरोना काल की इन विषम परिस्थितियों में भी वह कड़ी ट्रेनिंग कर रही हैं। ध्यान केंद्रित करने के लिए जो भी जरूरी होता है, वह किया जा रहा है।
दरअसल, योग एवं ध्यान के अलावा खेती-किसानी से जुड़े कार्य करने से आत्मिक शांति प्राप्त होती है। दिन के समय में मां सुमेधा भाकर और चाची नीलम के साथ खेत में जाने का मौका मिला। गाय के लिए खुद चारा लेकर आई। जबकि, कुछ दिन पहले भाई अखिल के साथ ट्रैक्टर चलाया था। पेड़ से अमरूद तोड़ना हो या घुड़सवारी करना, दरअसल सभी कार्यो को खुद करने में खास संतोष मिलता है।
उनका कहना है कि परिवार के लोग विशेष स्नेह रखते हैं। मेरी हर छोटी बात को प्राथमिकता के आधार पर पूरा किया जाता है। ऐसे में जब खुद कोई नया कार्य करती हूं तो उन्हें भी अच्छा लगता है। बेशक ही नए कार्यो को करने से मानसिक और शारीरिक समस्याओं से निपटने में मदद मिलती है। खास तौर पर जब आप ध्यान लगाते हो तो आप मानसिक रूप से भी काफी मजबूत होते हैं, जो कि खेल के लिए भी काफी अच्छा है।
मां बोलीं, आदर्श बेटी हैं मनु
मनु की मां सुमेधा भाकर कहती हैं कि मनु हमेशा एक आदर्श बेटी की तरह व्यवहार करती हैं। परिवार के साथ आज जब खेत में गए तो वहां से गाय के लिए चारा भी खुद लेकर आई। मनु की चाची नीलम ने उन्हें दूध दुहना सिखाने में मदद भी की है।