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ओलंपिक चैंपियन अभिनव बिंद्रा बोले- गोल्ड मेडल जीत सकते हैं भारतीय निशानेबाज

अभिनव बिंद्रा ने कहा कि भारतीय निशानेबाजों के पास टोक्यो में होने वाले ओलंपिक में कई पदक समेत गोल्ड मेडल जीतने की क्षमता है।

By Vikash GaurEdited By: Published: Wed, 26 Feb 2020 11:48 AM (IST)Updated: Wed, 26 Feb 2020 11:48 AM (IST)
ओलंपिक चैंपियन अभिनव बिंद्रा बोले- गोल्ड मेडल जीत सकते हैं भारतीय निशानेबाज
ओलंपिक चैंपियन अभिनव बिंद्रा बोले- गोल्ड मेडल जीत सकते हैं भारतीय निशानेबाज

नई दिल्ली, जागरण न्यूज नेटवर्क। ओलंपिक चैंपियन निशानेबाज अभिनव बिंद्रा ने कहा कि भारतीय निशानेबाजों के पास टोक्यो में होने वाले ओलंपिक में कई पदक सहित स्वर्ण जीतने की क्षमता है। बिंद्रा ओलंपिक की निशानेबाजी स्पर्धा में स्वर्ण पदक जीतने वाले इकलौते भारतीय हैं, लेकिन उन्हें उम्मीद है कि आगामी ओलंपिक के बाद इस क्लब में उनके साथ नए खिलाड़ी जुड़ेंगे।

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37 वर्षीय अभिनव बिंद्रा ने कहा, "हम ओलंपिक खेलों के लिए जा रहे हैं जहां हमारे पास कई पदक जीतने का मौका होगा। ओलंपिक में स्वर्ण पदक जीतने का वास्तविक मौका होगा।" भारतीय निशानेबाजों के लिए साल 2019 बेहद ही सफल रहा है जहां भारतीय खिलाड़ी राइफल-पिस्टल के सभी विश्व कप सहित विश्व कप फाइनल्स में शीर्ष पर रहे। भारत ने ओलंपिक के लिए रिकॉर्ड 15 कोटा हासिल किए हैं। रियो ओलंपिक (2016) में निशानेबाजी टीम को खाली हाथ लौटना पड़ा था जिसके बाद बिंद्रा की अगुआई में समिति के निर्देश पर कुछ बदलाव किए गए थे।

हाल के वषरें में भारतीय निशानेबाजों के अविश्वसनीय प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए उन्होंने उम्मीद जताई की भारत इस प्रतियोगिता में अच्छा करेगा। उन्होंने कहा, "भारतीय खिलाडि़यों के पदकों की अच्छी संख्या के साथ लौटने की संभावना है। मुझे बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद है।" ओलंपिक में निशानेबाजी में भारत का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 2012 लंदन में दो पदक रहा था। 2008 में बिंद्रा ने बीजिंग ओलंपिक में 10 मीटर एयर राइफल में स्वर्ण पदक जीतकर इतिहास रचा था। भारत के लिए यह 1980 ओलंपिक (हॉकी में स्वर्ण) के बाद पहला स्वर्ण पदक था।

ओलंपिक से पहले निरंतर प्रदर्शन करना होगा : हरमनप्रीत

भारतीय पुरुष हॉकी टीम के उपकप्तान हरमनप्रीत सिंह ने मंगलवार को कहा कि टोक्यो ओलंपिक को देखते हुए टीम को लगातार अच्छा प्रदर्शन करना होगा। हरमनप्रीत ने कहा, 'हमने पिछले मैचों में क्वार्टर के बीच में धीमे खेल और लय बरकरार नहीं रखने का खामियाजा भुगता है। ओलंपिक में जाने से पहले यह हमारे लिए चिंता का विषय है।

कोच (ग्राहम रीड) का मानना है कि हमें सर्कल भेदने, सर्कल के बाहर विरोधी खिलाड़ी से निपटने और ज्यादा पेनाल्टी कॉर्नर नहीं देने पर काम करना होगा। एक लंबे शिविर से इन सभी चीजों में सुधार करने का मौका मिलेगा। इसमें कोई संदेह नहीं कि दुनिया की शीर्ष तीन टीमों के खिलाफ अच्छे परिणाम से हमारा मनोबल बढ़ा है लेकिन बहुत सारे विभाग हैं जो अभी भी चिंता का सबब बने हुए है।' भारत ने एफआइएच प्रो लीग चैंपियनशिप में नीदरलैंड्स के खिलाफ जीत के साथ शानदार आगाज किया।


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