बीएसएल की हालत दयनीय, श्रमिकों का 49 करोड़ बकाया
राष्ट्रीय इस्पात निगम लिमिटेड अधीनस्थ एशिया की सबसे बड़ी चूना पत्थर खद
संवाद सूत्र, बीरमित्रपुर : राष्ट्रीय इस्पात निगम लिमिटेड अधीनस्थ एशिया की सबसे बड़ी चूना पत्थर खदान बिसरा स्टोन लाइम लिमिटेड, (बीएसएल) की हालत दयनीय है। यहां कार्यरत करीब 650 श्रमिकों व कर्मचारियों का 15 महीने का वेतन समेत अन्य मद पर करीब 49 करोड़ रुपये का बकाया है। प्रबंधन की ओर से शीघ्र ही समस्या का समाधान करने का भरोसा दिया गया है।
पीएफ राशि जमा नहीं करने के कारण कंपनी को 7.4 करोड़ रुपये अतिरिक्त भरना होगा। इस समस्या के समाधान के लिए गुरुवार को जिला प्रशासन, राष्ट्रीय इस्पात निगम लिमिटेड तथा श्रमिक संगठनों की संयुक्त बैठक जिलापाल सुरेंद्र कुमार मीणा की अध्यक्षता में सुंदरगढ़ में हुई। इसमें आरआइएनएल के पर्सनल निदेशक तथा बीएसएल के एमडी केसी दास, महाप्रबंधक बी दत्त, कंपनी के मुख्य वित्त अधिकारी जयंत चक्रवर्ती, श्रमिक नेता विधायक जार्ज तिर्की, गांगपुर लेवर यूनियन के नेता संदीप मिश्र, भिखारी पाणीग्राही, साजिद अहमद, कपिल कुआ आदि शामिल थे।
इसमें बताया गया कि बीएसएल के श्रमिकों के 15 महीने के वेतन के रूप में 13.31 करोड़, सितंबर 2013 से अक्टूबर 2018 तक ओवरटाइम के एवज में 75 लाख रुपये, एलआइसी प्रीमियम अप्रैल 2017 से अक्टूबर 2018 तक 78 लाख, ईपीएफ में कर्मचारियों के हिस्से का सितंबर 2017 से अक्टूबर 2018 तक 1.47 करोड़, ईपीएफ खान प्रबंधन का अंश जुलाई 2013 से जुलाई 2018 तक 3.69 करोड़, कर्मचारियों के को- आपरेटिव सोसाइटी के बावत फरवरी 2017 से अक्टूबर 2018 तक 1.13 करोड़, ग्रेच्यूटी व एलआइसी प्रीमियम पर 16.90 करोड़, कंट्रक्टर बिल के एवज में 4.48 करोड़ रुपये बाकी है। इस समस्या के समाधान के लिए आरआइएनएल प्रबंधन ने अनुरोध किया गया। एक महीने का वेतन पिछले महीने देने तथा शीघ्र ही एक महीने का वेतन और देने की बात महाप्रबंधक बी दत्ता ने कही। श्रमिकों के बकाया का भुगतान नहीं होने से उनकी आर्थिक हालत दयनीय हो गयी है।