BSE Odisha Class 10th Result 2021: ओडिशा में मैट्रिक की परीक्षा में बेटियों का दबदबा, 97.89 फीसद पास
BSE Odisha Class 10th Result 2021 नौवीं व दसवीं कक्षा की पूर्व परीक्षा के प्राप्तांक के आधार पर छात्र- छात्राओं का मूल्यांकन किया गया है और उसी हिसाब से उन्हें नंबर दिए गए हैं। 97.89 फीसद बच्चे सफल हुए हैं। इस साल भी बेटियों ने बाजी मारी।
जागरण संवाददाता, कटक। माध्यमिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित मैट्रिक परीक्षा का परिणाम शुक्रवार को घोषित कर दिया गया गया। ओडिशा के इतिहास में पहली बार बिना परीक्षा कराए ही परिणाम घोषित किया गया, क्योंकि कोरोना महामारी के कारण इस साल मैट्रिक की परीक्षा नहीं हो पाई थी। नौवीं व दसवीं कक्षा की पूर्व परीक्षा के प्राप्तांक के आधार पर छात्र- छात्राओं का मूल्यांकन किया गया है और उसी हिसाब से उन्हें नंबर दिए गए हैं। राज्य के कुल 97.89 फीसद बच्चे सफल हुए हैं। इस साल भी बेटों को पीछे छोड़कर बेटियों ने बाजी मारी है। कुल 2,80,352 छात्र मैट्रिक परीक्षा में पास किए हैं, जबकि 2,81,658 छात्राओं ने सफलता हासिल की है।
शिक्षा मंत्री समीर रंजन दास, शिक्षा विभाग के सचिव सत्यव्रत साहू, माध्यमिक शिक्षा परिषद के अध्यक्ष डा. रामाशीष हाजरा, परीक्षा नियंत्रक निहार रंजन मोहंती प्रमुख की मौजूदगी में बोर्ड कार्यालय परिसर में परिणाम की घोषणा हुई। इसके बाद शाम छह बजे वेबसाइट पर परिणाम अपलोड कर दिए गए। परिणाम घोषित करने के बाद शिक्षा मंत्री समीर रंजन दास ने कहा कि मैट्रिक रेगुलर में कुल 5,74,125 छात्र-छात्राओं ने शिरकत की थी। इनमें से 5,62,010 परीक्षार्थी उत्तीर्ण हुए हैं, जबकि 7,703 असफल रहे। किसी भी स्कूल में इस साल रिजल्ट शून्य नहीं आया है। जिलों की बात करें तो जगतसिंहपुर में उत्तीर्ण करने की दर सर्वाधिक 99.09 फीसद रही और बौद्ध जिले में यह दर सबसे कम 96.17 फीसद रही है।
परिणाम निकालने में रखा गया विशेष ध्यान: मंत्री
मंत्री ने कहा कि परीक्षा परिणाम में गलती न हो, इसके लिए विशेष ध्यान दिया गया है। अगर किसी भी छात्र-छात्रा को इस परीक्षा के नतीजे से एतराज होगा तो वे सीधे तौर पर परीक्षा दे सकेंगे। इसके लिए पांच जुलाई से फार्म भरे जाएंगे। अगस्त अंत तक इसके भी परिणाम घोषित कर दिए जाएंगे। सचिव सत्यव्रत साहू ने क हा कि चुनौतियों के बीच मैट्रिक परीक्षा परिणाम को घोषित किया गया है, जो छात्र-छात्रा नौवीं और दसवीं कक्षा की परीक्षा में 33 फीसद अंक भी नहीं ला पाए थे, सिर्फ वही असफल हुए हैं। मध्यमा परीक्षा में 4,713 छात्र-छात्राओं ने फार्म भरा था। उसमें से 4,622 पास हुए हैं। इसी तरह स्टेट ओपन स्कूल परीक्षा में 4,752 छात्र-छात्रा उत्तीर्ण हुए हैं।