ओडिशा में फिर मानवता शर्मसार: बहन के शव को साइकिल पर बांध श्मशान तक पहुंचाया
ओडिशा में फिर एक बार दर्दनाक घटना सामने आयी है यहां बहन के शव काे कंधा न मिलने के कारण भाईयों ने शव का साइकिल पर बांध श्मशान घाट तक पहुंचाया।
भुवनेश्वर, शेषनाथ राय। ओडिशा में मानवता एक बार फिर शर्मसार हुई है। मृत शरीर को कंधा देने के लिए चार आदमी नहीं मिले और शव को साइकिल में रस्सी से बांधकर श्मशान घाट ले जाना पड़ा। घटना ओडिशा के नवरंगपुर जिला अन्तर्गत चंदाहांडी ब्लाक गम्हारीगुड़ा पंचायत के मणी गांव में शनिवार को घटी है। बहन के शव को कंधा न मिलने के चलते दो भाइयों ने शव को साइकिल में बांधकर श्मशान घाट ले जाकर अंतिम संस्कार किया है।
सूचना के मुताबिक पति के छोड़ देने के बाद उक्त मृतक महिला नुआखाई पांडे (42) अपने दो भाइयों के साथ रहती थी। पिछले कुछ दिनों से उसकी तबियात खराब चल रही थी। शुक्रवार रात के समय उसकी मृत्यु हो गई। इसके बाद शनिवार को उसके अंतिम संस्कार की तैयारी उसके भाइयों ने की मगर शव कंधा देने के लिए गांव का कोई भी व्यक्ति आगे नहीं आया। ऐसे में शनिवार सुबह के समय दोनों भाई टेकाराम पांडे, एवं पुरुषोत्तम पांडे साइकिल में बहन के शव को बांधकर श्मशान घाट ले गए और गांव के पास ही भंडारी नदी के किनारे श्मशान घाट पर अंतिम संस्कार किए। मिली जानकारी के मुताबिक पारिवारिक कलह के कारण गांव का कोई सदस्य शव को कंधा देने के लिए आगे नहीं आया है।
गरीबी के साथ मजबूरी भी कुछ कम नहीं, आज को मिलाकर हो चुकी हैं कई घटनाएं
12 अक्टूबर 2019: ओडिशा के नवरंगपुर जिला अन्तर्गत चंदाहांडी ब्लाक गम्हारीगुड़ा पंचायत के मणी गांव में ग्रामीणों के साथ मतभेद के कारण बहन के शव को कंधा देने को आगे नहीं आए गांव के लोग। बहन के शव को कंधा न मिलने के चलते दो भाइयों ने शव को साइकिल में बांधकर श्मशान घाट ले जाकर अंतिम संस्कार किया है।
15 सितंबर 2019 : ओडिशा के कटक जिले के बांकी इलाके में एंबुलेंस के लिए दो हजार मांगने की जिद से मजदूर एक गरीब परिवार को अपने परिजन का शव ठेला रिक्शा पर लादकर ले जाना पड़ा।
17 जून 2019 : ओडिशा के सुंदरगढ़ जिले के हेमगिर थाना अंतर्गत गोपालपुर के कर्पाबहाल में एक बेटे को मां का शव साइकिल पर लादकर चार किलोमीटर दूर छर्ला जंगल तक ले जाने को मजबूर होना पड़ा।
19 अक्टूबर 2018 : ओडिशा में चक्रवात से प्रभावित गजपति जिले में एक पिता को अपनी सात साल की बेटी का पोस्टमार्टम कराने के लिए शव कंधे पर रखकर आठ किलोमीटर तक पैदल चलना पड़ा।
6 अक्टूबर 2018 : ओडिशा के सुंदरगढ़ जिले के लहुराडीपा में किराया नहीं होने के कारण एक बेटे को अपनी मां का शव ठेले पर लाद कर ले जाना पड़ा।
8 अगस्त 2018 : ओडिशा के ढेंकानाल जिले में गरीब परिवार की शादीशुदा बेटियों को अपने पिता का शव सामान ढोने वाले मालवाही रिक्शा पर लाद कर ले जाना पड़ा।
7 जनवरी 2018 : ओडिशा के अनुगुल जिले में एक पिता को अपनी बेटी का शव कंधे पर लाद कर शहर से 15 किमी दूर गांव तक ले जाना पड़ा।
11 जनवरी 2017 : ओडिशा के जाजपुर जिले में महाप्रयाण गाड़ी नहीं मिलने पर एक युवक को अपनी मां का शव कंधे पर लाद कर गांव तक जाना पड़ा था।
8 सितंबर 2016 : ओडिशा के मलकानगिरी में बीच सड़क पर एंबुलेंस से शव उतार देने के कारण एक बाप को अपनी बेटी का शव गोद में लेकर गांव तक जाना पड़ा था।
25 अगस्त 2016 : ओडिशा के कालाहांडी जिले में दीन माझी को अपनी पत्नी का शव कंधे पर लाद कर 10 किमी तक जाना पड़ा।
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