Move to Jagran APP

COVID-19 in Children: भुवनेश्‍वर में कोरोना की दूसरी लहर बच्चों पर पड़ रही है भारी, 15 दिन में 85 बच्चे संक्रमित

COVID-19 in Childrenओडिशा की राजधानी में कोरोना की दूसरी लहर बच्चों पर पड़ रही है भारी 15 दिन में संक्रमित हो चुके हैं। 14 साल से कम आयु के 85 बच्चे नये संक्रमित मरीजों में 45 प्रतिशत संक्रमितों की आयु 10 साल से कम है।

By Babita KashyapEdited By: Published: Mon, 19 Apr 2021 02:49 PM (IST)Updated: Mon, 19 Apr 2021 02:49 PM (IST)
COVID-19 in Children: भुवनेश्‍वर में कोरोना की दूसरी लहर बच्चों पर पड़ रही है भारी, 15 दिन में  85 बच्चे संक्रमित
पिछले 15 दिनों में भुवनेश्वर में 85 बच्चे कोरोना पाजिटिव

भुवनेश्वर, शेषनाथ राय। ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में छोटे बच्चों के लिए कोरोना खतरे की घंटी बजा रहा है। दूसरी लहर में राजधानी क्षेत्र में कोरोना की चपेट में आने वाले बच्चों की संख्या काफी दिख रही है। पिछले 15 दिनों में राजधानी क्षेत्र में 85 बच्चों को कोरोना पाजिटिव पाया गया है, जिनकी आयु 0-14 वर्ष वर्ग में है। शहर में कुल नए संक्रमणों में से लगभग 45 प्रतिशत संक्रमितों की आयु 10 साल से कम है।

loksabha election banner

 ओडिशा की राजधानी सिटी में दूसरी लहर में कोरोना का कहर जारी है। पहली लहर के लगभग आठ महीने के बाद भुवनेश्वर ने शनिवार को 450 का आंकड़ा पार कर लिया। भुवनेश्वर में शनिवार को दैनिक संक्रमण का आंकड़ा 451 दर्ज किया गया है, जबकि रविवार खुर्दा जिले में 704 कोरोना संक्रमित पाये गये हैं। उल्लेखनीय है कि पहली लहर के दौरान राजधानी में 12 सितंबर, 2020 को 480 कोरोना पाजिटिव मामला दर्ज किया था। पिछले 15 दिनों की अवधि 1 से 16 अप्रैल के दौरान भुवनेश्वर नगर निगम (बीएमसी) के एकत्र आंकड़ों के अनुसार, स्मार्ट सिटी में दैनिक नए संक्रमणों में 14 साल से कम आयु वर्ग के बच्चे काफी संख्या में हैं। यह आंकड़ा दैनिक 2 से 4 फीसदी है।

 पिछले वर्ष पीक अवधि के दौरान शहर में अनुपात लगभग 1 से 2 प्रतिशत था। पिछले 15 दिनों में 0 से 14 वर्ष के आयु वर्ग में राजधानी में कुल 87 बच्चों को कोविड-19 पाजिटिव पाया गया है। एक डेटा विश्लेषण के अनुसार, शहर में कुल नए संक्रमणों का लगभग 45 प्रतिशत 10 साल से कम आयु के बच्चे हैं। इसके अलावा, लिंग के विभाजन से पता चलता है कि लड़कियों की तुलना में लड़के अधिक संक्रमित पाये जा रहे हैं। यह आंकड़े लड़कों की आंतरिक कमजोरी को दर्शा रहा है। भुवनेश्वर की जनगणना के आंकड़ों से पता चलता है कि राजधानी में इस आयु वर्ग की आबादी लगभग 2.7 लाख है। उनमें से लगभग 10 प्रतिशत 0 से 6 वर्ष के आयु वर्ग के हैं।

 दूसरी लहर में रिकवरी रेट काफी क

कोरोना के आंकड़ों के विश्लेषण से पता चला है कि दूसरी लहर में अब तक की रिकवरी काफी कम है। कोरोना की पहली लहर में रिकवरी दर 83 प्रतिशत थी, जो आज 25 प्रतिशत है। यह स्मार्ट सिटी के लिए एक कष्टदायक दिन को दर्शा रहा है।

 लापरवाही के कारण बच्चे ज्यादा संक्रमित 

बीएमसी के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, दूसरी लहर में कोरोना काफी तेजी से फैल रहा है। पहली लहर में काम करने वाला आयु वर्ग (20-45 वर्ष) में वायरस फैला था। पिछली बार बच्चों के बीच प्रसार धीमा था। इस बार बच्चों की संख्या काफी है। अधिकारी ने कहा कि यह देखा गया है कि शहर के अधिकांश बच्चे कोविड-19 नियमों का कड़ाई से पालन नहीं कर रहे हैं। वे अभी भी खेल के मैदानों में एक-दूसरे के साथ घुलमिल जाते हैं। इस पर अंकुश लगाने की जरूरत है।

 शैक्षणिक संस्थानों से काफी तेजी से फैला संक्रमण

एक दुसरा पहलू यह भी है कि लंबे समय के बाद स्कूलों और शैक्षणिक ट्यूटोरियल इंस्टीट्यूटों के खुलने के बाद बच्चों का काफी लंबे अंतराल के बाद घरों से बाहर निकलने का मौका मिला। इस दौरान यहां कोरोना नियमों का पालन उचित तरीके से नहीं किया गया। दूसरी लहर में कोरोना के संक्रमण की चपेट में काफी संख्या में इंस्टीट्यूट आये हैं।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.