हक मांगने भुवनेश्वर निकले ओडिशा के किसान, सभा आज
थ्री पी (प्राइस, प्रेस्टिस व पेंशन) की मांग को लेकर राज्य के विभिन्न जिलों से किसान भुवनेश्वर कूच कर गए हैं।
जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर : थ्री पी (प्राइस, प्रेस्टिस व पेंशन) की मांग को लेकर राज्य के विभिन्न जिलों से किसान भुवनेश्वर कूच कर गए हैं। हजारों की संख्या में ये किसान सोमवार को राजधानी पहुंचकर विधानसभा के सामने पीएमजी मार्ग पर सभा कर मुख्यमंत्री नवीन पटनायक को मांगपत्र सौंपेंगे। तय रणनीति के तहत राज्य के सभी 30 जिलों से किसान अलग-अलग जत्थे में भुवनेश्वर के लिए निकले हैं। जाजपुर समेत 12 जिलों से किसानों जत्था पैदल ही अक्षय, शिशिर कुमार सामल, सहदेव नंदा, निमई राय, रश्मिरंजन विश्वाल के नेतृत्व में रवाना हुआ है जिसके सुबह तक राजधानी पहुंचने की संभावना है। वहीं पुरी जिले के बालूगांव से किसान पदयात्रा का खुर्दा पहुंचने पर मेघना साहू के नेतृत्व में जोरदार स्वागत किया गया।
इधर, आंदोलन शांतिपूर्ण रहे इसके लिए शासन-प्रशासन ने चाक चौबंद व्यवस्था की है। बालूघाट पुरी से आने वाली किसानों को खुर्दा में ही रोक लिया गया है। बड़े किसान नेताओं की धर-पकड़ देर रात तक जारी रही। इससे किसान आंदोलन के तमाम नेतृत्वकर्ता भूमिगत हो गए हैं। कई जगह किसानों व पुलिस के बीच तीखी झड़प होने की भी खबर है। किसानों का कहना है कि फसल नुकसान के एवज में उचित मुआवजा नहीं मिलता और खरीद मूल्य भी वाजिब नहीं दिया जाता है। किसानों का कहना है कि प्राइस, प्रेस्टिज एवं पेंशन (थ्री पी) जब तक राज्य सरकार नहीं देती तब तक वे पीछे हटने वाले नहीं हैं।
तमांडो में धारा-144 लागू
अपनी मांग को लेकर राजधानी में सभा करने आ रहे राज्य भर के किसानों की भीड़ का इनपुट मिलने के बाद शासन-प्रशासन के हाथ-पैर फूल गए हैं। प्रशासन की ओर से आंदोलनकारियों को उनके गृह क्षेत्र में रोका जा रहा है। इसके अलावा राजधानी से पहले किसानों को रोकने के लिए शहर के बाहर सभी मार्गो पर भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। राष्ट्रीय राजमार्ग-5 पर तमांडो के पास रविवार को किसान के साथ हुई धक्का-मुक्की के बाद इलाके में धारा-144 लगा दी है। इसके बावजूद विभिन्न जिलों से किसानों का रेला देर रात तक राजधानी की ओर बढ़ता रहा।
कांग्रेस ने किया समर्थन
प्राइस, प्रेस्टिज व पेंशन की मांग को लेकर किसानों के आंदोलन का समर्थन करते हुए कांग्रेस भी नवीन सरकार पर हमलावार हो गई है। भुवनेश्वर आ रहे किसानों के कटक मार्ग पर प्रवास के दौरान खुद प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष निरंजन पटनायक ने किसानों के बीच पहुंचकर उनकी मांगों का जायज ठहराया। इस दौरान पीसीसी अध्यक्ष ने कहा कि राज्य सरकार सूबे के किसानों की अनदेखी कर रही है और उनकी जायज मांगों तक हो नहीं सुना जा रहा है, उल्टे किसानों की आवाज दबाने का प्रयास हो रहा है। ऐसे में कांग्रेस किसानों के संघर्ष में साथ है।
पूर्व सांसद बैजयंत पंडा भी कूदे
राज्य के विभिन्न जिलों से अपनी मांग को लेकर राजधानी आ रहे किसानों को हरवर्ग का समर्थन मिल रहा है। केंद्रपाड़ा के पूर्व सांसद बैजयंत पड़ा भी किसानों के आंदोलन में कूद पड़े हैं और इलाके के कृषकों के जत्थे की अगुवाई करते हुए राजधानी भुवनेश्वर की ओर निकले हैं।
आवाज दबाने का प्रयास कर रही सरकार : अक्षय
आंदोलन का नेतृत्व करने वाले नवनिर्माण कृषक संगठन के संयोजक अक्षय कुमार के अनुसार, सोमवार को होनी वाली कृषक सभा में शामिल होने के लिए राज्य के विभिन्न जिलों से सैकड़ों की संख्या में किसान दो दिन पहले ही भुवनेश्वर के लिए निकल चुके हैं। कृषक सभा में राज्यभर से करीब 25 हजार किसान हिस्सा लेंगे। अक्षय कुमार ने आरोप लगाया है कि आंदोलन को दबाने के लिए किसान नेताओं को गिरफ्तार किया जा रहा है। शासन-प्रशासन किसानों को उनके गृह क्षेत्र में ही रोककर कृषकों की आवाज दबाना चाहता है जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।