Odisha: बीजद से निकाले गए विधायक प्रदीप पाणिग्राही, पत्नी ने सरकार से मांगा जवाब
Pradeep Panigrahi बीजद से निकाले जाने पर प्रदीप पाणिग्राही ने कहा कि बीजद में मुझे जो दायित्व दिया गया मैंने उसका सफलता पूर्वक निर्वहन किया। पिछले चुनाव में मुझे 15 सीटों का दायित्व दिया गया था और मैंने 15 में से 12 सीटें जितवाई।
जासं, भुवनेश्वर। Pradeep Panigrahi: बीजू जनता दल (बीजद) से निकाले जाने पर गोपलपुर विधायक प्रदीप पाणिग्राही ने कहा कि मैं समझ नहीं पा रहा हूं कि मैंने कौन सा जन विरोधी कार्य किया है। रविवार को उन्होंने कहा कि पत्रकार इसका पता लगाएं कि जन विरोधी कार्य क्या है। प्रदीप पाणिग्राही ने कहा कि बीजद में मुझे जो दायित्व दिया गया, मैंने उसका सफलता पूर्वक निर्वहन किया। पिछले चुनाव में मुझे 15 सीटों का दायित्व दिया गया था और मैंने 15 में से 12 सीटें जितवाई। निलंबित किए गए आइएफएस अधिकारी अभयकांत पाठक के साथ संपत्ति की बात सामने आने पर गोपालपुर विधायक प्रदीप पाणिग्राही को बीजद ने दल से निकाल दिया गया है।
बीजद द्वारा जारी प्रेस रिलिज में पाणिग्राही को दल के प्राथमिक सदस्यता से भी बहिष्कार किए जाने की बात कही गई है। प्रेस रिलिज में पाणिग्राही पर जन विरोधी कार के कारण दल से निकाले जाने की बात कही है। यह पहला मौका है, जब बीजद ने अपने बहिष्कार आदेश में जनविरोधी कार्य का उल्लेख किया है। आमतौर पर दल विरधी कार्य के लिए दल से बाहर का रास्ता दिखाया जाता है। हालांकि विधायक पाणिग्राही के खिलाफ कैसा जन विरोधी कार्य का आरोप है, यह नहीं बताया गया। माना जा रहा है कि अभयकांत पाठक मामले में दल की बदनामी के डर से बीजद सुप्रीमो नवीन पटनायक ने विधायक को दल से बाहर का रास्ता दिखाया है। बीजद नेता रमेश पटनायक ने विधायक के निकाले जाने को सही ठहराते हुए कहा कि उनके होने वाले दामाद ने नौकरी देने के नाम पर लोगों से ठगी की है। उधर, पाणिग्राही की पत्नी ने सरकार से जवाब मांगा है कि उन्हें बताया जाए कि उनके पति ने कौन सा जन विरोधी कार्य किया है। मेरे पति पिछले 20 साल से राजनीति में हैं। कभी उन पर भ्रष्टाचार का कोई आरोप नहीं लगा।
गौरतलब है कि आइएफएस अधिकारी अभयकांत पाठक के पुत्र के साथ विधायक की पुत्री का विवाह निश्चित हुआ है। इसके लिए कार्ड भी छप चुका था। विजलेंस छापे के बाद अभयकांत के साथ रिश्ता रखने वाले लोगों पर नजर रखी जा रही है। अभयकांत का पुत्र आकाश पाठक के नाम टाटा मोटर्स में नौकरी के नाम पर लोगों से ठगी का आरोप है। खुद को टाटा मोटर्स का एमडी बताकर आकाश ने बेरोजगार युवकों से लाखों रुपये एकत्र किए थे। विजलेंस को छापे में ऐसे 68 युवक-युवतियों के संबंध में जानकारी मिली है, जो इस ठगी का शिकार हुए हैं। कोरोना काल में 20 बार से अधिक चार्टर प्लेन में घूमने वाले पाठक परिवार की अकूत संपत्ति देखकर विजलेंस विभाग के अधिकारी भी चकित हैं।