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माता नहीं कुमाता : बेटे की चाहत में दुधमुंही बेटी को डुबोकर मार डाला, पति और परिजनों को गुमराह करती रही महिला

मध्‍य प्रदेश में एक मां ने बेटे की चाहत में दुधमुंही बेटी की नदी में डुबोकर हत्या कर दी। पिता ने बच्ची की गुम होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस दौरान पत्नी पुलिस और परिवार के लोगों को गुमराह करती रही।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Published: Sun, 04 Oct 2020 06:03 AM (IST)Updated: Sun, 04 Oct 2020 06:03 AM (IST)
माता नहीं कुमाता : बेटे की चाहत में दुधमुंही बेटी को डुबोकर मार डाला, पति और परिजनों को गुमराह करती रही महिला
मध्‍य प्रदेश में एक मां ने बेटे की चाहत में दुधमुंही बेटी की नदी में डुबोकर हत्या कर दी।

सलेहा/पन्ना, जेएनएन। कहावत है कि माता कभी कुमाता नहीं हो सकती... लेकिन मध्‍य प्रदेश में ऐसी वारदात सामने आई है जो इसे गलत साबित करती है। राज्‍य के सलेहा थानांतर्गत छिजौरा गांव में एक मां ने बेटे की चाहत में दुधमुंही बेटी की नदी में डुबोकर हत्या कर दी। यह घटना 29 सितंबर को हुई। पिता ने अपनी 12 दिन की बच्ची की गुम होने की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। इस दौरान पत्नी पुलिस और स्वजनों को गुमराह करती रही।

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पुलिस के अनुसार पति दिनेश (27) की ओर से दर्ज कराई गई शिकायत में कहा गया है कि 29 सितंबर की रात को वह, पत्नी सुमन कुशवाहा और साला देवीदीन सो रहे थे। सुबह करीब चार बजे पत्नी ने जगाकर बताया कि वह नित्य क्रिया के लिए गई थी। जब वापस आई तो बच्ची चारपाई में नहीं मिली। दूसरे दिन सलेहा पुलिस और डायल 100 ने तलाश शुरू की तो गुड़ने नदी में नवजात का शव पानी में उतराता मिला।

पुलिस ने जब मृतका की मां और पिता समेत स्वजनों से कड़ाई से पूछताछ की तो आरोपित सुमन कुशवाहा ने बताया कि वह बच्ची के जन्म से संतुष्ट नहीं थी। वह पहले बच्चा चाहती थी। रात में उसने दुधमुंही बच्ची को उठाकर गुड़ने नदी के पनघटा घाट में ले जाकर डुबो दिया। इसके बाद बच्ची के गुम होने की कहानी बताकर पति को गुमराह करने लगी। पुलिस ने मामला दर्ज कर आरोपित महिला को गिरफ्तार कर लिया है।

हाल ही में उत्‍तर प्रदेश में इसी से मिलती वारदात सामने आई थी। बदायूं के मुहल्ला नेकपुर गली नंबर तीन में शराब के नशे में धुत युवक ने हंसिया से अपनी पत्नी का पेट केवल इसलिए फाड़ डाला था क्‍योंकि वह देखना चा‍हता था कि पेट में बेटा पल रहा है या बेटी... हालांकि बाद में पुलिस ने आरोपी पति को गिरफ्तार कर लिया था।

ऐसी शर्मशार करने वाली घटनाएं तब हो रही है जब सरकार बेटियों को पढ़ाने और उनके हर क्षेत्र में प्रतिनिधित्‍व पर जोर दे रही है। बीते दिनों उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने संसद और राज्य विधानसभाओं में महिलाओं के लिए पर्याप्त आरक्षण की वकालत करते हुए सभी राजनीतिक दलों से इस मुद्दे पर जल्द सहमति बनाने का आग्रह किया था। 


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