Corona Vaccine: नीति आयोग के स्वास्थ्य सदस्य बोले, प्रोटोकॉल के हिसाब से सजग रहें, पहले जो टीका लगे उसी का दूसरा टीका लगवाएं
डॉ. पॉल ने इस मामले पर आगे बताया कि जिन्हें अलग-अलग खुराक मिल रही है उनके लिए चिंता की कोई बात नहीं है यह सुरक्षित है। नीति आयोग के सदस्य द्वारा कहा गया कि ऐसी भी बातचीत चल रही है कि बदल के वैक्सीन लगे तो इम्यूनिटी ज्यादा होती है।
नई दिल्ली, एएनआइ। भारत के सबसे बड़े सूबे उप्र के सिद्धार्थनगर जिले में हाल ही में कोरोना टीका लगाने में लापरवाही देखी गई। नीति आयोग के स्वास्थ्य सदस्य डॉ. वीके पॉल ने एक व्यक्ति को दो अलग-अलग डोज यानी एक कोविशील्ड और दूसरी कोवैक्सीन लगाने के मामले में बताया कि इसका कोई नुकसान नहीं है। हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि जिस व्यक्ति ने पहले टीके के रूप में कोविशील्ड ली है, उसे दूसरे टीके के रूप में भी वहीं लेनी चाहिए। या फिर अगर किसी ने कोवैक्सीन ली है, तो उसे दूसरे टीके के रूप में वही लेनी चाहिए।
डॉ. वीके पॉल ने कहा, 'प्रोटोकॉल के हिसाब से सजग रहना है कि ऐसा न हो। पहले जो टीका लगे, उसी का दूसरा टीका लगे। लेकिन फिर भी अगर ऐसा हो गया है तो यह इतना महत्वपूर्ण मामला नहीं है।' उन्होंने सिद्धार्थनगर में कुछ लोगों को कोविशील्ड के बाद कोवैक्सीन लगने पर यह बात कही। उन्होंने आगे कहा कि उस परिवार के लिए कोई चिंता की बात नहीं है।
दो बदलकर डोज लगाने पर विचार?
डॉ. पॉल ने इस मामले में आगे बताया कि जिन्हें अलग-अलग खुराक मिल रही है, उनके लिए चिंता की कोई बात नहीं है, यह सुरक्षित है। इसके अलावा उन्होंने आगे एक बड़ी बात कही। उन्होंने कहा, 'हम परीक्षण के आधार पर मिक्स एंड मैच (वैक्सीन की खुराक) करने की सोच रहे हैं।' डॉ. पॉल के मुताबिक, ट्रायल पर नजर है और उस बेसिस पर एक आदमी को दोनों वैक्सीन देने पर विचार किया जा सकता है।
गौरतलब है कि उप्र के सिद्धार्थनगर जिले में कोरोना टीका लगाने में लापरवाही का मामला आया और कुछ दोनों को दो अलग-अलग टीके दिए गए थे।