महामारी से निपटने के लिए टीके के विकास और दवा के परीक्षण पर काम करने को टास्कफोर्स गठित
नीति आयोग के सदस्य और सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार होंगे सह अध्यक्ष। आयुष आइसीएमआर सीएसआइआर और डीआरडीओ के सदस्य टास्कफोर्स में होंगे शामिल।
नई दिल्ली, प्रेट्र। कोरोना को हराने के लिए सरकार ने एक उच्च स्तरीय टास्कफोर्स का गठन किया है। यह टास्कफोर्स महामारी से निपटने के लिए टीके के विकास और दवा के परीक्षण पर काम करेगा। नीति आयोग के सदस्य और सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार इसके सह अध्यक्ष होंगे।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय में संयुक्त सचिव लव अग्रवाल ने नियमित प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि टास्कफोर्स में आयुष विभाग, भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आइसीएमआर), विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, जैवप्रौद्योगिकी विभाग, वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआइआर), रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) के सदस्य और महानिदेशक, स्वास्थ्य सेवाएं और औषधि नियंत्रक भी शामिल होंगे। टास्कफोर्स का उद्देश्य कोरोना के खिलाफ लड़ाई में उद्योग और अंतरराष्ट्रीय प्रयासों को सक्षम बनाना और गति देना है।
अग्रवाल ने कहा, 'टीके के विकास के तरीकों की पहचान करने के लिए जैवप्रौद्योगिकी विभाग को केंद्रीय समन्वय एजेंसी बनाया गया है। हम सरकारी स्तर पर टीके के विकास के लिए राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय प्रयासों की सूची बनाएंगे, प्रगति पर नजर रखेंगे और जरूरी सुविधा मुहैया कराएंगे।'
मंत्रालय ने यह भी कहा है कि टास्कफोर्स क्लीनिकल समूह बनाने पर भी काम करेगा। यह समूह इस बीमारी को बेहतर तरीके से समझने और उसके प्रबंधन के लिए लोगों पर लंबे समय तक नजर रखेगा। उन्होंने कहा, 'हम टीके और दवा पर आगे परीक्षण के लिए जैव नमूने भी एकत्र करेंगे। यह काम नमूने की जांच के काम से एकदम अलग होगा।'