MP में सब इंजीनियर ने उठाई बंदूक, धमकी देने वालों को तीन घंटे तक दी चुनौती
मध्य प्रदेश के दमोह में सीएमएचओ कार्यालय के निर्माण शाखा में पदस्थ सब इंजीनियर अभिषेक चक्रवर्ती ने अपने विरोधियों की धमकी का जवाब देने के लिए एक अनोखा तरीका अपनाया।
दमोह, जेएनएन। मध्य प्रदेश के दमोह में सीएमएचओ कार्यालय के निर्माण शाखा में पदस्थ सब इंजीनियर अभिषेक चक्रवर्ती ने अपने विरोधियों की धमकी का जवाब देने के लिए एक अनोखा तरीका अपनाया। वे रविवार सुबह नौ बजे अपनी लाइसेंसी बंदूक लेकर स्थानीय तहसील ग्राउंड पहुंचे और दोपहर करीब 12 बजे तक मैदान के मंच पर घूमते रहे। यह जानकारी हमारे सहयोगी अखबार नई दुनिया ने दी।
स्थानीय तहसील ग्राउंड में बंदूक लेकर करता रहा इंतजार
सब इंजीनियर ने बताया कि उसके विभाग के निर्माण कार्य करने वाले कुछ लोग अपनी मर्जी से काम करना चाहते हैं, लेकिन वह शासन के नियमों का पालन कराने के लिए कहते हैं। ये तरीका ठेकेदार व उनके साथियों को पसंद नहीं और इसलिए वह उन्हें बार-बार धमकी देते हैं। कुछ दिन पहले भी कुछ लोगों ने उन्हें धमकी दी थी, इसलिए उन्होंने तय किया कि विरोधियों को वह एक मौका देंगे। इसलिए उन्होंने पहले ही सूचना जारी की थी कि जो भी उनसे बैर रखता है और जो कुछ करना चाहता है, वह मैदान में आकर अपनी क्षमता का परिचय दे सकता है।
यदि कोई हमला करेगा तो चला देंगे गोली
सब इंजीनियर चतुर्वेदी से जब पूछा गया कि वह बंदूक लेकर क्यों आए हैं तो उनका कहना था कि वह उनके धर्म की विद्या है। भगवान राम ने भी धर्म युद्ध के लिए हथियार उठाया था और यह भी धर्म युद्ध ही है। उन्होंने किसी को नुकसान पहुंचाने के लिए ये बंदूक नहीं उठाई है, लेकिन जो लोग उन्हें धमका रहे हैं, यदि वो यहां आते हैं और उनपर हमला करते हैं तो वह परिस्थति के हिसाब से गोली चलाने से नहीं चूकेंगे। जब उनसे पूछा कि यहां पर बंदूक लेकर घूमने के लिए क्या उन्होंने पुलिस से अनुमति ली या पुलिस में शिकायत की तो उनका कहना था कि कथित लोगों ने उनका अपमान किया है, इसलिए उन्हें यही ठीक लगा कि वह सीधे तौर पर मामले का निपटारा कर लें।
उन्होंने कहा कि तीन दिन पहले विज्ञप्ति जारी करते हुए साफ किया था कि वह तीन घंटे रविवार को तहसील मैदान में रहेंगे। इन दिनों में किसी ने कोई आपत्ति नहीं ली, इसलिए उन्होंने ये मान लिया कि उन्हें पुलिस की अनुमति है। उधर, एसपी विवेक सिंह ने कहा कि ऐसा करने का किसी को अधिकार नहीं है। उन्हें कोई शिकायत थी तो वह अपने वरिष्ठ अधिकारियों से कहते या पुलिस में शिकायत करते। बंदूक लेकर घूमना गलत है। मामले में कार्रवाई करेंगे।