Move to Jagran APP

Pulwama Terror Attack: परिवार के साथ छुट्टियां मनाकर ड्यूटी पर लौटे थे केरल के वसंत

Pulwama Terror Attack, पुलवामा आतंकी हमले में शहीद हुए जवान वी वी वसंत कुमार केवल एक हफ्ते पहले ही परिवार के साथ छुट्टियां मनाकर ड्यूटी पर लौटे थे। वे 17 साल से सेना में थे।

By TaniskEdited By: Published: Sat, 16 Feb 2019 03:59 PM (IST)Updated: Sat, 16 Feb 2019 03:59 PM (IST)
Pulwama Terror Attack: परिवार के साथ छुट्टियां मनाकर ड्यूटी पर लौटे थे केरल के वसंत
Pulwama Terror Attack: परिवार के साथ छुट्टियां मनाकर ड्यूटी पर लौटे थे केरल के वसंत

नई दिल्ली, प्रेट्र। Pulwama Terror Attack, पुलवामा में गुरुवार को सीआरपीएफ जवानों के काफिले पर हुए हमले में शहीद हुए जवान वी वी वसंत कुमार केवल एक हफ्ते पहले ही परिवार के साथ छुट्टियां मनाकर ड्यूटी पर लौटे थे। वसंत केरल के वायनाड जिले के सुदूर लक्कीड़ी स्थित अपने घर में परिवार के साथ पांच दिन बिताने के बाद कश्मीर में अपनी नई तैनाती पर सेवाएं देने वापस लौटे ही थे कि यह आतंकवादी हमला हो गया। इस हमले में वसंत सहित सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हुए हैं।

loksabha election banner

छह माह पहले ही पिता का हुआ था निधन
वसंत के परिवार को यह यकीन नहीं हो रहा है कि वे अब इस दुनिया में नहीं रहे। परिवार के लिए यह दूसरा झटका है, क्योंकि वसंत के पिता वासुदेवन का छह माह पहले ही निधन हुआ है। वसंत के चचेरे भाई सजीवन ने कहा कि तरक्की और बटालियन में बदलाव के बाद उनके भाई की कश्मीर में तैनाती हुई थी। इससे पहले वह पंजाब में तैनात थे।

बच्चों को मौत की जानकारी नहीं
छुट्टी बिताने के बाद वसंत आठ फरवरी को कश्मीर के लिए रवाना हो गए थे। सजीवन ने बताया कि मेरा बड़ा भाई देश के लिए शहीद हुआ है और हमें उनकी शहादत पर गर्व है। उन्होंने कहा कि वसंत की मां शांता और पत्नी शीना का रो-रोकर बुरा हाल है, जबकि उनके दो बच्चे- बेटा अमनदीप (5) और बेटी अनामिका (8) को इसके बारे में बताया नहीं गया है।

सजीवन ने कहा, जब वह यहां थे तो हर कोई बहुत खुश था। परिवार सर्कस देखने के लिए गया था। बच्चे अपने पिता का साथ पाकर काफी खुश थे। बच्चों को इस त्रासदी के बारे में नहीं बताया गया है। वह नुकसान को नहीं समझ पाएंगे। परिवार को टीवी से इस घटना की जानकारी मिली। उन्होंने कहा, 'हमने कभी नहीं सोचा था कि जान गंवाने वालों में हमारा अपना कोई शामिल होगा। मेरे भाई ने सेना को 17 साल तक सेवाएं दी हैं और उनकी सेवानिवृति में सिर्फ दो साल का वक्त रह गया था। उन्हें तरक्की मिली थी और वे नई जिम्मेदारी संभालने कश्मीर गए थे। 

राजकीय सम्मान के साथ होगा अंतिम संस्कार
सजीवन ने कहा कि कश्मीर पहुंचने के बाद उन्होंने अपने परिवार को बताया था कि वह कश्मीर पहुंच गए हैं और इसके दो घंटे के भीतर ही धमाका हो गया। आज सुबह जिले के अतिरिक्त जिलाधिकारी (एडीएम) वसंत के घर आए और कहा कि राजकीय सम्मान के साथ दिवंगत जवान का अंतिम संस्कार किया जाएगा। मुख्यमंत्री पी विजयन ने वसंत के निधन पर शोक व्यक्त किया है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.