प्रदूषण पर सख्त हुआ PMO, मंत्रालय से कहा- 6 महीने में चाहिए समाधान
पीएमओ ने यह दखल उस समय दी है, जब पिछले हफ्ते भर से दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों में वायु प्रदूषण का स्तर खतरनाक स्तर पर बना हुआ है।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। राजधानी दिल्ली सहित उससे सटे आसपास के क्षेत्रों में वायु प्रदूषण के बढ़े स्तर पर अब पीएमओ( प्रधानमंत्री कार्यालय) की भी चिंताएं खुलकर सामने आई है। पीएमओ ने इस मामले में संबंधित मंत्रालयों से छह महीने के भीतर समाधान खोजने को कहा है। साथ ही नीति आयोग को भी समस्या के समाधान खोजने में संबंधित मंत्रालयों को सहयोग करने को कहा है।
पीएमओ ने यह दखल उस समय दी है, जब पिछले हफ्ते भर से दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों में वायु प्रदूषण का स्तर खतरनाक स्तर पर बना हुआ है। हालांकि मौसम की अनुकूलता के चलते वायु प्रदूषण के स्तर में तेजी से सुधार भी रहा है, पर स्थिति अभी भी चिंताजनक है।
पीएमओ ने यह निर्देश बुधवार को वायु प्रदूषण को लेकर पर्यावरण, कृषि और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालयों के वरिष्ठ अफसरों की बुलाई गई बैठक में दिए है। पीएमओ की ओर से इस बैठक की अध्यक्षता प्रधानमंत्री के प्रमुख सचिव नृपेंद्र मिश्रा ने की। बैठक में उन्होंने सबसे पहले मंत्रालय की ओर से समस्या से निपटने को लेकर उठाए गए कदमों की जानकारी ली। इस दौरान उन सारी समस्याओं को लेकर लंबी चर्चा हुई, जिसके समाधान सरकार के हाथ में है।
इस बीच कृषि मंत्रालय ने पराली जलाए बगैर बुआई की नई तकनीक के बारे में बताया और कहा कि इसको बढ़ावा देने के लिए उत्तर प्रदेश, हरियाणा, पंजाब और पश्चिम बंगाल को 120 करोड़ रुपए दिए गए है। इनसे अकेले पंजाब को 50 करोड़ रुपए दिए गए है। इसके अलावा कृषि मंत्रालय ने पराली से बायो फर्टीलाइजर और बायो इथेनाल बनाने की प्रौद्योगिकी की भी जानकारी दी। साथ ही बताया कि इन सभी पर अमल शुरु हो गया है।
पराली को एनटीपीसी को देने की दिशा में भी काम किया जा रहा है। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने भी इस दौरान पराली को छोटे-छोटे टुकड़ों में काटकर खेतों में ही सड़ाने की तकनीक सहित गाडि़यों से निकलने वाले धुएं को कैसे कम किया जाए, इस दिशा में भी काम किया जा रहा है। पर्यावरण मंत्रालय ने भी इस दौरान प्रदूषण के बढते स्तर पर नजर रखने के लिए मॉनीटरिंग स्टेशनों की संख्या को बढ़ाने सहित राज्यों को प्रदूषण फैलाने वाले कारणों से तुरंत अलर्ट करने का काम किया जा रहा है।
तीन घंटे से ज्यादा समय तक चली लंबी बैठक में पीएमओ ने मंत्रालयों को दो टूक कहा कि जो भी कदम उठाने जरूरी हो,वह सभी उठाए जाए। अगले साल फिर ऐसी स्थिति नहीं बननी चाहिए। बैठक में पराली को रोल करके एनटीपीसी यूनिटों में ईंधन के रूप में भेजने को लेकर भी चर्चा हुई। बैठक में पीएमओ को वायु प्रदूषण से निपटने के लिए दिल्ली और पड़ोसी राज्यों के साथ लगातार हो रही नियमित बैठकों की भी जानकारी दी।
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