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अफगान जेल में बंद बेटी के प्रत्यर्पण के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका, जानिए किन आरोपों में दर्ज है मामला

याचिका में कहा गया है कि अफगानिस्तान में इस्लामी संगठन में शामिल होने के इरादे से पहली बेटी और नातिन 30 जुलाई 2016 को भारत से भाग गईं। इंटरपोल ने बेटी के खिलाफ 22 मार्च 2017 को रेड कार्नर नोटिस भी जारी किया था।

By Dhyanendra Singh ChauhanEdited By: Published: Tue, 03 Aug 2021 12:41 AM (IST)Updated: Tue, 03 Aug 2021 12:41 AM (IST)
अफगान जेल में बंद बेटी के प्रत्यर्पण के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका, जानिए किन आरोपों में दर्ज है मामला
प्रत्यर्पण व वापसी के लिए निर्देश जारी करने की मांग

नई दिल्ली, प्रेट्र। केरल के एक व्यक्ति ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर केंद्र सरकार को अफगानिस्तान की पुल-ए-चारखी जेल में बंद बेटी और नाबालिग नातिन के प्रत्यर्पण व वापसी के लिए निर्देश जारी करने की मांग की है। केरल के एर्नाकुलम जिले के निवासी वीजे सेबेस्टिन फ्रांसिस ने याचिका में कहा है कि उनकी बेटी के खिलाफ यहां एनआइए ने गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) एवं अन्य आरोपों में मामला दर्ज कर रखा है।

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अफगानिस्तान में इस्लामी संगठन में शामिल होने का था इरादा

फ्रांसिस ने कहा कि आरोप है कि उनके दामाद ने बेटी और अन्य आरोपितों के साथ एशियाई देशों के खिलाफ युद्ध छेड़ने में एक आतंकी संगठन का प्रचार करने की साजिश रची थी। याचिका में कहा गया है कि अफगानिस्तान में इस्लामी संगठन में शामिल होने के इरादे से पहली बेटी और नातिन 30 जुलाई, 2016 को भारत से भाग गईं। इंटरपोल ने बेटी के खिलाफ 22 मार्च 2017 को रेड कार्नर नोटिस भी जारी किया था।

फ्रांसिस ने कहा कि अफगानिस्तान पहुंचने के बाद उनका दामाद लड़ाई में मारा गया। उनकी बेटी और नातिन को 15 नवंबर, 2019 को कई अन्य महिलाओं के साथ अफगान सेना के सामने आत्मसमर्पण करना पड़ा और तब से वहां की जेल में बंद है।


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