नीति आयोग ने टॉप 100 सर्वश्रेष्ठ शिक्षकों की जारी की सूची, छत्तीसगढ़ के डॉ. पांडेय रहे सबसे अव्वल
गवर्नमेंट स्कूल दयालबंद बिलासपुर के प्राचार्य डा. राघवेंद्र गौराहा ने कहा कि डॉ. पांडेय का नाम सूची में होना गौरव की बात है। इस सूची में छत्तीसगढ़ से वह इकलौते एटीएल प्रभारी हैं। एटीएल में निजी और सरकारी दोनों तरह के स्कूल शामिल हैं।
राधाकिशन शर्मा, बिलासपुर। गवर्नमेंट हायर सेकेंडरी स्कूल, बिलासपुर स्थित अटल टिंकरिंग लैब (ATL) के प्रभारी डा.धनंजय पांडेय को नीति आयोग ने देशभर के प्रभारियों (शिक्षकों) की सूची में पहले स्थान पर रखा है। आयोग ने देशभर में संचालित 15,000 एटीएल के प्रभारियों के कामकाज को विशेषज्ञों के सहयोग से परखते हुए यह 100 सूची तैयार करवाई है। इसमें विशेष रूप से सक्रिय 5,600 एटीएल प्रभारियों के कामकाज का आकलन करते हुए शीर्ष 100 प्रभारियों की सूची बनाई थी।
गवर्नमेंट स्कूल दयालबंद बिलासपुर के प्राचार्य डा. राघवेंद्र गौराहा ने कहा कि डॉ. पांडेय का नाम सूची में होना गौरव की बात है। इस सूची में छत्तीसगढ़ से वह इकलौते एटीएल प्रभारी हैं। एटीएल में निजी और सरकारी, दोनों तरह के स्कूल शामिल हैं। वहां लगातार नवाचार और बाल विज्ञानियों द्वारा आविष्कार किए जा रहे हैं। उन्हें मार्गदर्शन करने वाले एटीएल प्रभारियों के कामकाज का आकलन करने के लिए आयोग ने वरिष्ठ विज्ञानियों की एक टीम बनाई थी।
आयोग ने सर्वश्रेष्ठ शिक्षकों के चयन के लिए कुछ महत्वपूर्ण आधार बनाए थे प्रभारियों से जानकारी मांगी गई कि हर महीने एटीएल में कितने सेमिनार किए, कब-कब वर्कशाप का आयोजन किया गया, बाल विज्ञानियों के कितने आविष्कारों को कम्युनिटी (लोगों के बीच) में लेकर गए, कितने स्कूली छात्रों को लैब लेकर आए और नवाचार के संबंध में प्रेरित और प्रोत्साहित किया।
आविष्कारों के कारण मिला पुरस्कार
एटीएल प्रभारी डा.पांडेय के मार्गदर्शन में बाल विज्ञानियों ने मोक्षा मशीन का सबसे पहले आविष्कार किया। इस मशीन के जरिए चिता की राख को परिष्कृत कर जैविक खाद में बदला जा रहा है। मोक्षा ने दुबई में आयोजित अंतरराष्ट्रीय रोबोटिक चैंपियनशिप में प्रथम स्थान अर्जित किया था। इसके अलावा ईको-जिम,अटल कृषि मित्र, स्मार्ट बायोटायलेट, ग्रीन शील्ड व अटल दिव्यांग रथ ने नीति आयोग के वरिष्ठ विज्ञानियों को काफी प्रभावित किया है।