NIA ने 12 लोगों के खिलाफ दायर की चार्जशीट, ISIS आतंकियों के लिए बड़ी संख्या में खरीदे थे सिम कार्ड
आरोपी मोहिदीन के पास से चेन्नई और सलेम से खरीदा गया सिम कार्ड बरामद किया गया था जिसे आतंकी इस्तेमाल करते थे।
चेन्नई, एएनआइ। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने भारत में इस्लामिक स्टेट के आतंकियों की मदद करने के आरोप में गिरफ्तार 12 लोगों के खिलाफ मंगलवार को चार्जशीट दायर की। इस सभी पर आईएसआईएस के आतंकवादियों और उनकी गतिविधियों के लिए इस्तेमाल किए गए सिम कार्डों को धोखाधड़ी से खरीदने का आरोप है।
आतंकियों की मदद करने वाले 12 आरोपी पचैयप्पन (37), ए राजेश (34), अनबरसन टी (27), अब्दुल रहमान (44), लियाकत अली (29), मोहम्मद हनीफ खान (29), इमरान खान (32), मोहम्मद जैद (24), एजाज पाशा (46), हुसैन शरीफ (33), खाजा मोहीदीन (52) और महबूब पाशा (48) पर भारतीय दंड संहिता, शस्त्र अधिनियम और गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत आरोप लगाए गए हैं।
एनआईए की रिलीज में कहा गया है, 'मामले की जांच से पता चला कि फरवरी 2019 में एक हिंदू नेता की हत्या के मामले में मुख्य साजिशकर्ता और आईएसआईएस आतंकवादी खाजा मोहिदीन ने जमानत पर रिहा होने के बाद लियाकत अली के साथ मिलकर भारत में आईएसआईएस की गतिविधियों को आगे बढ़ाने के इरादे से साजिश रची। उन्होंने सितंबर और दिसंबर 2019 के बीच आरोपी पचायप्पन और आरोपी राजेश के अलावा चेन्नई में आरोपी अनबरसन और आरोपी अब्दुल रहमान से बड़ी संख्या में धोखाधड़ी से एक्टिवेट किए गए सिम कार्ड खरीदे।
एजेंसी ने कहा कि मोहिदीन ने अपने सहयोगियों हनीफ, इमरान, जैद, एजाज, शरीफ और महबूब को आईएसआईएस की हिंसक चरमपंथी विचारधारा से कट्टरपंथी बना दिया और उनके साथ मिलकर भारत में आतंकी समूह की गतिविधियों को आगे बढ़ाने की साजिश रची।
एजेंसी के अनुसार, यह मामला 28 दिसंबर, 2019 को चेन्नई के कांचीपुरम में एयरटेल के प्रादेशिक बिक्री प्रबंधक की तरफ से दायर एक शिकायत के आधार पर दर्ज किया गया था। इसमें कहा गया था कि कुछ एयरटेल के सिम कार्ड को गैर-कानूनी रूप से विभिन्न व्यक्तियों के दस्तावेजों का उपयोग करके धोखे से सक्रिय किया गया है।
एनआइए ने कहा कि सिम कार्ड को चेन्नई में सक्रिय किया गया था और बाद की जांच के दौरान यह पाया गया कि सेलम में भी वोडाफोन के सिम कार्डों को इसी तरह की धोखाधड़ी से एक्टिव किया गया था। चेन्नई और सेलम से खरीदे गए सिम कार्ड मोहिदीन के पास से मिले थे। जिसे वह आतंकियों और अपने सहयोगियों के साथ संचार करने के लिए इस्तेमाल करता था।