कानपुर के सिग्नेचर सिटी प्रोजेक्ट पर पर्यावरण मंत्रालय से जवाब तलब
वकील प्रशांत शुक्ला के जरिए जारी याचिका में यादव ने आरोप लगाया है कि परियोजना की दीवार निकटवर्ती एलेन फॉरेस्ट चिडि़याघर की दीवार को छू रही है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। एनजीटी ने कानपुर विकास प्राधिकरण की 'सिग्नेचर सिटी प्रोजेक्ट' को पर्यावरण मंजूरी देने में विलंब के लिए पर्यावरण मंत्रालय को 'कारण बताओ' नोटिस जारी किया है। एनजीटी प्रमुख जस्टिस यूडी साल्वी की पीठ ने मामले में याचिकाकर्ता अश्वनी यादव की शिकायत न सुनने के लिए पर्यावरण मंत्रालय की खिंचाई की। साथ ही 24 जनवरी तक इसका कारण बताने को कहा है।
पीठ ने कहा, 'पर्यावरण मंत्रालय को नोटिस जारी कर पूछा जाए कि आखिर उसने उक्त मामले में आवेदन पर कोई कदम क्यों नहीं उठाया।' याचिकाकर्ता ने सिग्नेचर सिटी प्रोजेक्ट पर इस आधार पर रोक लगाने की मांग की थी कि एलेन फारेस्ट चिडि़याघर से सटी होने के बावजूद कानपुर विकास प्राधिकरण ने परियोजना के लिए राज्य प्रदूषण विभाग से कोई मंजूरी नहीं ली है।
इस मामले पर एनजीटी में यह दूसरी याचिका है। पहली याचिका का एनजीटी ने पिछले साल नवंबर में इस आधार पर निपटारा कर दिया था क्योंकि तब पर्यावरण मंत्रालय के वकील ने उसे भरोसा दिया था कि प्रोजेक्ट को चार सप्ताह के भीतर मंजूरी प्रदान करने का प्रयास किया जाएगा।
चार सप्ताह बाद भी मंजूरी न मिलने पर यादव ने पुन: याचिका दाखिल कर एनजीटी से नवंबर के आदेश को लागू कराने की अपील की। वकील प्रशांत शुक्ला के जरिए जारी याचिका में यादव ने आरोप लगाया है कि परियोजना की दीवार निकटवर्ती एलेन फॉरेस्ट चिडि़याघर की दीवार को छू रही है। इससे एलेन फॉरेस्ट के पेड़-पौधों, पशु-पक्षियों, झील व जलीय जंतुओं समेत संपूर्ण पारिस्थितिकी संतुलन लिए खतरा पैदा हो सकता है।
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