मेहुल चोकसी को जांच की पहले से थी जानकारी, इसलिए भाग गया : CBI
चोकसी ने पंजाब नेशनल बैंक के उपप्रबंधक गोकुलनाथ शेट्टी के साथ आपराधिक साजिश कर मार्च और अप्रैल 2017 के दौरान 165 लेटर आफ अंडरटेकिंग जारी किए जाने के लिए दाखिल सारे दस्तावेज वापस ले लिए थे और 58 फारेन लेटर्स आफ क्रेडिट में हेराफेरी की थी।
नई दिल्ली, प्रेट्र। सीबीआइ ने कहा है कि भगोड़े हीरा कारोबारी मेहुल चोकसी को 2017 में अपने खिलाफ प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की आसन्न पूछताछ की जानकारी मिल गई थी और इसी वजह से वह साक्ष्यों को छिपाकर भारत से फरार हो गया था।
सीबीआइ ने अपने पूरक आरोप पत्र में आइपीसी की धारा-201 के साथ अन्य आरोपों को भी शामिल किया है जो आपराधिक साजिश के तहत संदिग्ध द्वारा सुबूतों को मिटाने से संबंधित है। चोकसी ने पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के उपप्रबंधक गोकुलनाथ शेट्टी के साथ आपराधिक साजिश कर मार्च और अप्रैल, 2017 के दौरान 165 लेटर आफ अंडरटेकिंग (एलओयू) जारी किए जाने के लिए दाखिल सारे दस्तावेज वापस ले लिए थे और 58 फारेन लेटर्स आफ क्रेडिट (एफएलसी) में हेराफेरी की थी।
सीबीआइ का आरोप है कि शेट्टी ने बेईमानी और जालसाजी करते हुए आरोपित कंपनियों गीतांजलि जेम्स लिमिटेड, गिली इंडिया लिमिटेड और नक्षत्र ब्रांड लिमिटेड द्वारा जमा कराए गए सभी मूल आवेदनों के साथ अन्य दस्तावेज वापस कर दिए थे। सीबीआइ ने आरोप लगाया कि विपुल चुन्नीलाल चितालिया के कहने पर मेहुल चोकसी के कर्मचारी द्वारा किराये पर लिए गए परिसरों पर छापेमारी के दौरान आवेदन के साथ ये दस्तावेज बरामद किए गए थे। एजेंसी ने हिरासत के दौरान चितालिया के गूगल ड्राइव से भी एलओयू और एफएलसी के रिकार्ड बरामद किए थे। चोकसी के इशारे पर उसके कर्मचारी घोटाले पर पर्दा डालने का प्रयास कर रहे थे वहीं, चोकसी भारत से किसी सुरक्षित स्थान पर फरार होने का प्रयास कर रहा था।
सीबीआइ ने आरोप लगाया कि 2017 में चोकसी हांगकांग गया था जहां उसने आपूíतकर्ता कंपनियों के 'फर्जी' निदेशकों से मुलाकात की। ये फर्जी निदेशक चोकसी की कंपनियों के ही कर्मचारी थे। आपूíतकर्ता कंपनियां शानयो गोंग सी लिमिटेड, 4सी डायमंड डिस्ट्रीब्यूटर और क्राउन ऐम लिमिटेड पीएनबी द्वारा जारी 6,345 करोड़ रुपये के एलओयू और एलएलसी की लाभार्थी थीं। हांगकांग दौरे के दौरान चोकसी ने फर्जी निदेशकों से भारत यात्रा नहीं करने को कहा क्योंकि उन्हें गीतांजलि समूह को लेकर ईडी की पूछताछ का सामना करना पड़ सकता था। चोकसी ने हांगकांग की आपूíतकर्ता कंपनियों के निदेशकों से थाईलैंड का वीजा लेने को भी कहा था क्योंकि हांगकांग का कारोबार बंद होने वाला था। पूरक आरोप पत्र में सीबीआइ ने कहा, 'यह दिखाता है कि चोकसी को आसन्न आपराधिक मामले की जानकारी थी। इसलिए चोकसी कानूनी प्रक्रिया से बचने के लिए चार जनवरी, 2018 को भारत से फरार हो गया।' बता दें कि सीबीआइ ने अपने पहले आरोप पत्र के करीब तीन साल बाद पूरक आरोप पत्र दाखिल किया है।
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प्रत्यर्पण के लिए डोमिनिका से बात कर रहा भारत
भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने गुरुवार को बताया कि भारत सरकार चोकसी के प्रत्यर्पण के लिए डोमिनिका सरकार के साथ पूरी सक्रियता से बात कर रही है। इस बीच, डोमिनिका के मजिस्ट्रेट कोर्ट ने देश में चोकसी के गैरकानूनी प्रवेश के मामले की सुनवाई 25 जून तक के लिए टाल दी है।
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