बंद पड़े स्कूलों को खोलने के लिए जानें किन देशों ने अब तक शुरू किया है बच्चों का वैक्सीनेशन
दुनिया के कई देश ऐसे हैं जिन्होंने स्कूलों को दोबारा खोलने के मकसद से 12-18 वर्ष की आयुवर्ग को वैक्सीन देने का काम या तो शुरू कर दिया है या फिर शुरू करने वाले हैं। बीते करीब सवा साल स्कूलों पर ताला लटका है।
नई दिल्ली (ऑनलाइन डेस्क)। बीते करीब सवा साल से बंद पड़े स्कूलों को खोलने के लिए दुनिया के कई देशों ने आगे कदम बढ़ा दिया है। हालांकि इसकी कवायद काफी पहले से शुरू हो गई थी, लेकिन फिर कोरोना महामारी की दूसरी और तीसरी लहर की वजह से कई देशों में स्कूलों को या तो फिर से बंद कर दिया गया था या फिर उन्हें कुछ शर्तों के आधार पर खोलने की मंजूरी दी गई थी। लेकिन अब दुनिया के कई देश ऐसे हैं जहां पर कोरोना संक्रमण की रफ्तार कम हुई है। ऐसे में ये देश अपने 12-18 आयुवर्ग के बच्चों को वैक्सीन की पहली और दूसरी डोज देने की या तो तैयारी कर रहे हैं या इसको शुरू कर चुके हैं। इन देशों का मानना है कि इस वैक्सीनेशन के बाद स्कूलों की रौनक पहले की तरह वापस आ जाएगी।
- अमेरिका में मई के मध्य में फाइजर की वैक्सीन को सरकार की तरफ से हरी झंडी दे दी गई थी, जिसके बाद वहां पर 12-16 वर्ष की आयुवर्ग के बच्चों का टीकाकरण शुरू कर दिया गया है। बाइडन प्रशासन स्कूलों को दोबारा खोलने को लेकर काफी गंभीर दिखाई दे रहा है।
- हंगरी में भी 15 मई से 16-18 वर्ष के आयुवर्ग का टीकाकरण शुरू कर दिया गया है। ऐसा करने वाला हंगरी यूरोप का पहला देश भी है। यहां पर फाइजर और मॉर्डना की वैक्सीन दी जा रही है।
- इटली में भी 12-15 वर्ष की आयुवर्ग को वैक्सीन देने का काम शुरू कर दिया गया है। सरकार ने इसके लिए फाइजर की कंपनी की बनाई वैक्सीन को मंजूरी दी है। इटली ने 16 वर्ष की आयु से अधिक उम्र के लोगों को भी वैक्सीन देने का काम शुरू कर दिया है।
- जर्मनी में भी 12-16 वर्ष के आयुवर्ग को वैक्सीन देने का काम 7 जून से शुरू हो जाएगा। ये टीका स्वेच्छा से लगवाया जा सकेगा। सरकार की कोशिश है कि कम से कम सभी बच्चों को वैक्सीन की एक खुराक दे दी जाए।
- पोलैंड में भी 7 जून से वैक्सीनेशन देने का काम 12-15 वर्ष के आयुवर्ग को शुरू कर दिया जाएगा। इसके लिए स्कूलों या फिर इनके नजदीक वैक्सीनेशन सेंटर बनाए जाएंगे।
- ब्रिटेन में भी 12-15 वर्ष की आयुवर्ग के बच्चों को वैक्सीन देने के लिए फाइजर ने अनुमति मांगी है। माना जा रहा है कि मंजूरी मिलने के बाद जल्द ही इस आयुवर्ग का वैक्सीनेशन शुरू हो जाएगा।
- फ्रांस में जून से 16-18 वर्ष की आयुवर्ग के लिए जल्द ही वैक्सीनेशन प्रोग्राम शुरू हो जाएगा। इसके अलावा अगले वर्ष से 12-15 वर्ष के आयुवर्ग को वैक्सीन दी जाएगी।
- इजरायल में 16 वर्ष से अधिक की आयुवर्ग के बीच वैक्सीनेशन शुरू कर दिया गया है। वहीं 12-16 वर्ष की आयुवर्ग को जल्द ही वैक्सीन देने की शुरुआत हो जाएगी।
- कनाडा में मई में सरकार ने बच्चों के वैक्सीनेशन के लिए फाइजर की वैक्सीन को मंजूरी दी है। वैक्सीनेशन प्रोग्राम को सुचारू रूप से चलाने के लिए वैक्सीन की खरीद भी कर ली गई है।
- यूएई ने मई में ही बच्चों के वैक्सीनेशन के लिए मंजूरी दे दी है। जल्द ही यहां पर 12-15 वर्ष की आयुवर्ग को वैक्सीन देने का काम शुरू हो जाएगा।
- सिंगापुर में 1 जून से 12-18 वर्ष की आयुवर्ग को वैक्सीन देने की शुरुआत हो चुकी है। सिंगापुर ने ही सबसे पहले इस आयुवर्ग को वैक्सीन देने की पहल की थी।
- चिली में भी 12-16 वर्ष की आयुवर्ग को वैक्सीन देने की मंजूरी सरकार दे चुकी है।
- जापान में 28 मई को सरकार ने 12 वर्ष से अधिक के लोगों को वैक्सीन देने की अनुमति प्रदान कर दी थी।
- आस्ट्रिया में सरकार का लक्ष्य अगस्त के अंत तक करीब साढ़े तीन लाख बच्चों को कोरोना वैक्सीन की खुराक देने का है।