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लश्कर-ए-तैयबा की आतंकी फंडिंग के आरोपियों के खिलाफ कसा मनी लांड्रिंग का शिकंजा

आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा की मस्जिदों और मदरसों की फंडिंग के आरोपियों के खिलाफ मनी लांड्रिंग का शिकंजा कस गया है।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Sat, 09 Feb 2019 07:17 PM (IST)Updated: Sat, 09 Feb 2019 07:17 PM (IST)
लश्कर-ए-तैयबा की आतंकी फंडिंग के आरोपियों के खिलाफ कसा मनी लांड्रिंग का शिकंजा
लश्कर-ए-तैयबा की आतंकी फंडिंग के आरोपियों के खिलाफ कसा मनी लांड्रिंग का शिकंजा

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा की मस्जिदों और मदरसों की फंडिंग के आरोपियों के खिलाफ मनी लांड्रिंग का शिकंजा कस गया है। प्रवर्तन निदेशालय ने इस मामले में मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून के तहत जांच शुरू दिया है।

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ईडी की जांच शुरू होने के बाद आतंकी फंडिंग से बने मदरसों और मस्जिदों की संपत्ति को जब्त करने का रास्ता साफ हो गया है। ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून के तहत ईडी को काली कमाई से बनाई गई किसी भी संपत्ति को जब्त करने का अधिकार है।

दरअसल, पिछले साल सितंबर में एनआइए ने देश की राजधानी दिल्ली में चल रहे लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी फंडिंग के माड्यूल का पर्दाफाश करते हुए तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था। गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ के दौरान पता चला था कि आतंकी फंडिंग का यह जाल सिर्फ कश्मीर में आतंकियों को धन मुहैया कराने तक सीमित नहीं है बल्कि लश्कर-ए-तैयबा मस्जिदों और मदरसों के माध्यम से देश के भीतर कट्टरता फैलाने की भी साजिश कर रहा है।

आतंकी फंडिंग के लिए गिरफ्तार मोहम्मद सलमान हरियाणा के पलवल जिले के एक गांव के मस्जिद का इमाम भी है। पूछताछ में खुले सलमान ने स्वीकार किया कि आतंकी फंडिंग के पैसे का इस्तेमाल उसने मस्जिद और मदरसा बनाने में किया था। इसके बाद एनआइए ने मस्जिद की तलाशी भी ली थी और कई दस्तावेज भी बरामद किया था। दैनिक जागरण ने 16 अक्टूबर को ही इस मामले में मनी लांड्रिंग का केस दर्ज करने की तैयारी के बारे में खबर दी थी।

दरअसल, लश्कर-ए-तैयबा सरगना और मुंबई हमले का मास्टरमाइंड हाफिज सईद फलाह-ए-इंसानियत के माध्यम से आतंकी फंडिंग कर रहा था। फलाह-ए-इंसानियत भी लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा संगठन है और संयुक्त राष्ट्र ने इसे आतंकी संगठन घोषित कर रखा है।

जांच एजेंसियों की नजर से बचने के लिए आतंकी फंडिंग के लिए दुबई में रहने वाले फलाह-ए-इंसानियत से जुड़े एक पाकिस्तानी का इस्तेमाल किया जाता था। यह पाकिस्तानी एक ओर निजामुद्दीन में रहने वाला मोहम्मद सलमान को हवाला व अन्य माध्यम से लाखों रुपये भेजता और साथ ही वह पाकिस्तान स्थित फलाह-ए-इंसानियत के डिप्टी चीफ के साथ लगातार संपर्क में था।

एनआइए ने मोहम्मद सलमान के साथ-साथ सलाह-ए-इंसानियत की ओर पैसे मंगाने वाले हवाला आपरेटर दरियागंज के मोहम्मद सलीम उर्फ मामा और श्रीनगर के अब्दुल राशिद को गिरफ्तार किया था। आरोपियों के ठिकानों पर मारे गए छापे में एक करोड़ 56 रुपये नकद, 43 हजार रुपये की नेपाली मुद्रा, 14 मोबाइल फोन और पांच पेन ड्राइव बरामद हुए थे। 


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