जांच कमेटी की रिपोर्ट में कहा गया- केरल हाउस में नहीं परोसा गया बीफ
केरल हाउस में कथित रूप से बीफ परोसे जाने को लेकर दिल्ली पुलिस की ओर से की गई छापेमारी को लेकर उसकी मुसीबतें बढ़ सकती हैं, क्योंकि इस मामले को लेकर बनी जांच कमेटी ने कहा है कि वहां बीफ नहीं परोसा जा रहा था। जिस तरह वहां छापेमारी की
नई दिल्ली। केरल हाउस में कथित रूप से बीफ परोसे जाने को लेकर दिल्ली पुलिस की ओर से की गई छापेमारी को लेकर उसकी मुसीबतें बढ़ सकती हैं, क्योंकि इस मामले को लेकर बनी जांच कमेटी ने कहा है कि वहां बीफ नहीं परोसा जा रहा था। जिस तरह वहां छापेमारी की गई, इसके लिए पुलिस को दोषी ठहराया है। बुधवार को एनीमल हसबैंडरी विभाग ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को रिपोर्ट सौंप कर दिल्ली पुलिस पर सवाल उठाए है। दिल्ली सरकार ने रिपोर्ट की प्रति प्रधानमंत्री, गृह मंत्री, केरल सरकार तथा केरल के सभी सांसदों को भेज दी है।
बताया जा रहा है कि रिपोर्ट के आधार पर दिल्ली सरकार ने गृह मंत्रालय से दिल्ली पुलिस के खिलाफ कार्रवाई करने की गुजारिश की है। रिपोर्ट में छापेमारी के दौरान दिल्ली पुलिस को नियमों का पालन नहीं करने पर दोषी ठहराया गया है। कमेटी ने जांच में सहयोग के लिए दिल्ली पुलिस और उसके अधिकारियों को अपना पक्ष रखने के लिए कहा था, लेकिन दिल्ली पुलिस से कोई भी कमेटी के सामने पेश नहीं हुआ। इसके साथ ही पुलिसकर्मियों ने केरल हाउस में छापे के दौरान वहां के रेजिडेंट कमिश्नर से इजाजत नहीं ली थी। इसके अलावा पुलिस ने छापे के दौरान खाने के सैंपल भी नहीं लिए थे।
कमेटी के समक्ष केरल भवन ने जो तथ्य पेश किए हैं, उनसे भवन में किसी भी प्रकार गोमांस न परोसे जाने की बात कही गई है। रिपोर्ट के अनुसार 26 अक्टूबर की शाम को 4.15 पर दिल्ली पुलिस के दो जवान केरल भवन के अंदर गए और झगड़े की बात कहकर भवन के कर्मचारियों से पूछताछ की। इसके बाद 4 बजकर 30 मिनट पर 4 पुलिस कर्मी आए और केरल भवन की तलाशी की बात कहने लगे। 4 बजकर 45 मिनट पर 20-22 पुलिस वालों ने केरल भवन के कर्मचारियों के साथ गाली-गलौज करनी शुरू कर दी। प्राप्त जानकारी के अनुसार रिपोर्ट में केरल भवन के सात कर्मचारियों ने भी दिल्ली पुलिस के खिलाफ भी बयान दिए हैं।