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रेलवे के खानपान वेंडरों ने दुकान खोलने से खड़े किए हाथ, यात्रियों की हुड़दंग और लूटपाट से हैं तंग

रेलवे खानपान एसोसिएशन ने दबी जुबान में सही यह भी बताया कि श्रमिक स्पेशल ट्रेनों के यात्री कई स्टेशनों पर बेकाबू होकर हुड़दंग करने के साथ लूटपाट भी कर रहे हैं।

By Dhyanendra SinghEdited By: Published: Thu, 28 May 2020 08:59 PM (IST)Updated: Thu, 28 May 2020 09:16 PM (IST)
रेलवे के खानपान वेंडरों ने दुकान खोलने से खड़े किए हाथ, यात्रियों की हुड़दंग और लूटपाट से हैं तंग
रेलवे के खानपान वेंडरों ने दुकान खोलने से खड़े किए हाथ, यात्रियों की हुड़दंग और लूटपाट से हैं तंग

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। रेलवे प्लेटफार्म के खानपान वेंडरों ने अपनी दुकानें खोलने से हाथ खड़े कर दिए हैं। रेलवे को अपनी दुश्वारियां एक-एक कर गिनाते हुए उन्होंने आग्रह किया है कि दुकानों को खोलने के लिए उन पर दबाव न बनाए जाए। ट्रेनों का नियमित संचालन न होने और कोरोना महामारी के भय से ज्यादातर विक्रेता घरों को लौट गए हैं। थोड़ी बहुत दुकानों के खुलने की संभावना को श्रमिक स्पेशल के यात्रियों की हुड़दंग ने समाप्त कर दिया है।

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रेलवे फूड वेंडर एसोसिएशन ने रेलवे बोर्ड के चेयरमैन के समक्ष अपनी समस्याएं रखी है। उनका कहना है कि कोरोना वायरस का भय और लाकडाउन की वजह से ज्यादातर विक्रेता अपने घरों को लौट गए हैं। ट्रेनों का नियमित संचालन न होने से प्लेटफार्म की दुकानों पर किसी तरह की कोई बिक्री नहीं हो पा रही है। इसके विपरीत श्रमिक स्पेशल ट्रेनों की आवाजाही तो है, लेकिन उससे उतरने वाले यात्रियों की हुड़दंग से परस्पर दूरी बनाकर वायरस से बचने के प्रावधान की धज्जियां उड़ रही है।

सुरक्षा के नहीं थे कोई बंदोबस्त

रेलवे खानपान एसोसिएशन ने दबी जुबान में सही, यह भी बताया कि श्रमिक स्पेशल ट्रेनों के यात्री कई स्टेशनों पर बेकाबू होकर हुड़दंग करने के साथ लूटपाट भी कर रहे हैं। जबकि उनकी सुरक्षा के लिए कोई बंदोबस्त नहीं था। इससे दुकान खोलने काफी कठिन हो गया है। इसके चलते दुकानदार खानपान के स्टाल खोलने को तैयार नहीं हैं। उन्होंने रेलवे बोर्ड के चेयरमैन से आग्रह किया कि प्लेटफार्म की दुकानों को खोलने के लिए उनके उपर दबाव न बनाया जाए।

रेलवे बोर्ड के चेयरमैन ने अपने 21 मई के अपने पत्र में सभी जोनल रेलवे को स्टेशनों के भीतर और प्लेटफार्म की दुकानों को तत्काल प्रभाव से खोलने का आदेश जारी किया था। लेकिन ट्रेनों के नियमित संचालन के बगैर खानपान की इन दुकानों को खोलने से दुकानदार बच रहे हैं। इस संबंध में अखिल भारतीय रेलवे खानपान लाइसेंसी वेलफेयर एसोसिएशन के प्रेसीडेंट रविंदर गुप्ता ने बोर्ड चेयरमैन वीके यादव को इस बारे में विस्तृत पत्र लिखकर अपनी मुश्किलें बताई है।


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