हार गई बेटी की लड़ाई, नाबालिग दोषी हो गया रिहा
तमाम विरोध प्रदर्शन के बीच सोलह दिसंबर के निर्भया गैंगरेप के दोषी नाबालिग को रिहा कर दिया गया है। उसे एक एनजीओ की देखरेख में फिलहाल गुप्त स्थान पर शिफ्ट किया गया है।
नई दिल्ली। तमाम विरोध प्रदर्शन के बीच सोलह दिसंबर के निर्भया गैंगरेप के दोषी नाबालिग को रिहा कर दिया गया है। नाबालिग दोषी को ऑब्जर्वेशन होम में रखा जाएगा। उसे एक एनजीओ की देखरेख में फिलहाल गुप्त स्थान पर शिफ्ट किया गया है।
इस बीच, निर्भया के माता-पिता और सैकड़ों की तादाद में राजपथ पर लोगों ने पहुंचकर वहां पर प्रदर्शन किया।
वहां पर लोग दोषी को फांसी दो और इंसाफ के नारे लगाए। उसके बाद पुलिस उन लोगों को जबरदस्ती बस में भरकर वहां से अलग कर दिया। पुलिस की तरफ से इन पकड़े गए लोगों में निर्भया के माता-पिता भी थे जिन्हें जबरन राजपथ से हटाया गया।
प्रदर्शन के दौरान घायल हुई निर्भया की मां
बसंत विहार गैंगरेप के गुनहगार दोषी नाबालिग की रिहाई के विरोध में प्रदर्शन करने सैकड़ों की तादाद में लोग दिल्ली के राजपथ पर जुटे थे। हालांकि, इस दौरान पुलिस ने इन लोगों को इंडिया गेट पर और जंतर-मंतर पर तो नहीं जाने दिया लेकिन प्रदर्शनकारियों ने राजपथ पर पहुंचकर वहां पर अपना विरोध प्रदर्शन किया।
इस बीच, इन प्रदर्शनकारियों को हटाने के मकसद से भारी मात्रा में पुलिस बल को बुलाया गया। लोगों को जबरन वहां से उठाकर बस में चढाया गया ताकि उसे वहां से हटाया जा सके।
जिस दौरान प्रदर्शनकारियों को राजपथ से हटाया जा रहा था वहां पर निर्भया के माता-पिता भी मौजूद थे। पुलिस की तरफ से जबरदस्ती हटाने के दौरान निर्भया की माता घायल भी हो गई। हालांकि, उनके हाथ पर ये घायल होने के ये मामूली से निशान दिख रहे हैं।
जंतर-मंतर ना जाने देने पर फफक पड़ी निर्भया की मां
इससे पहले, निर्भया गैंगरेप केस के दोषी नाबालिग की रिहाई का विरोध करने जंतर मंतर जा रहे निर्भया के माता-पिता को पुलिस ने रोक दिया है। इसके बाद निर्भया की मां मीडिया से बातचीत के दौरान रोने लगीं।
निर्भया के माता-पिता रविवार शाम चार बजे से इंडिया गेट पर प्रदर्शन करना चाह रहे थे लेकिन पुलिस ने उन्हें इसकी इजाज़त नहीं दी। इसके बाद माता-पिता ने प्रदर्शन करने का इरादा बदल दिया।
दोषी नाबालिग की रिहाई के विरोध में राजपथ में प्रदर्शन करती निर्भया की मां
निर्भया की मां आशा देवी और पिता बद्रीनाथ सिंह प्रदर्शन के लिए इंडिया गेट जाना चाहते थे लेकिन पुलिस ने सुरक्षा कारणों से ऐसा करने से मना कर दिया।
राजपथ पर पहुंचे लोग
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इंडिया गेट के आसपास धारा 144
एक पुलिस अधिकारी ने मौक़े पर कहा कि संसद सत्र के कारण इंडिया गेट के आसपास धारा 144 लागू है इसलिए वो वहां प्रदर्शन नहीं कर सकते। जब पुलिस के लोग उनकी गाड़ी के आगे आकर खड़े हो गए तो आख़िरकार परिवार को प्रदर्शन वापस लेना पड़ा।
राजपथ में इसाफ के नारे लगाते निर्भया के पिता और प्रदर्शनकारी
इस पर बेहद निराश आशा देवी ने कहा कि उनके साथ “नाइंसाफ़ी हो रही है” और एक तरफ जहां उन्हें शांतिपूर्ण प्रदर्शन करने से रोका जा रहा है तो दूसरी ओर सरकार एक अपराधी को जेल से रिहा कर रही है। उन्होंने कहा कि मेरे आगे पीछे पुलिस लगा दी गई है और मैं आगे नहीं बढ़ पा रही हूं। मैं चाहती हूं कि समाज में लड़कियों को इतनी सुरक्षा दी जाए कि उनके साथ ऐसी घटनाएं न हों।
जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड को पत्र
इसी बीच दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल ने ट्वीट किया है कि उन्होंने जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड को पत्र लिखकर कहा है कि सुप्रीम कोर्ट में उनकी याचिका पर सोमवार को सुनवाई होनी है इसलिए 2012 दिल्ली गैंगरेप मामले में दोषी पाए गए नाबालिग़ को न छोड़ा जाए।