बेटे योगी को पहली बार भगवा में देख चौंक गए थे आनंद सिंह बिष्ट, रोई मां तो क्या बोले थे पिता
CM Yogi Adityanath Father inside story बेटे के मुख्यमंत्री बनने पर क्या बोले थे आनंद सिंह बिष्ट और वे किस सपने को पूरा होते नहीं देख पाए? सभी सवालों के जवाब इस खबर में मिलेंगे।
नई दिल्ली, जेएनएन। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पिता आनंद सिंह बिष्ट नहीं रहे। उनका लंबी बीमारी के बाद अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) दिल्ली में निधन हो गया। दीक्षा लेने से पहले योगी आदित्यनाथ का नाम अजय सिंह बिष्ट था। संन्यास लेने के बाद जब पहली बार आनंद सिंह बिष्ट ने अपने बेटे को भगवा वेश में देखा था तो चौंक गए थे। उनकी मां भी फूट-फूट कर रोने लगी थी।
इस किस्से का जिक्र योगी आदित्यनाथ की जीवन यात्रा पर लिखी किताब योद्धा योगी में किया गया है, इसे प्रवीण कुमार ने लिखा है। जानते हैं पूरा किस्सा, इसके अलावा बेटे के मुख्यमंत्री बनने पर क्या बोले थे आनंद सिंह बिष्ट और वे किस सपने को पूरा होते नहीं देख पाए? सभी सवालों के जवाब इस खबर में मिलेंगे।
पंचूर से गोरखपुर कैसे पहुंचे योगी आदित्यनाथ?
सबसे पहले तो ये जानते हैं कि उत्तराखंड के पौड़ी के पंचूर से गोरखपुर के गोरखनाथ धाम तक कैसे पहुंचे योगी आदित्यनाथ? दरअसल, पंचूर में योगी के स्कूली दिनों में विद्यार्थी परिषद के कार्यक्रम में गोरखपुर के तत्कालीन गोरक्ष पीठाधीश्वर महंत अवेद्यनाथ शामिल हुए थे। उस कार्यक्रम में योगी का भाषण सुन बेहद प्रभावित हुए महंत अवेद्यनाथ ने कहा था कि कभी मौका मिले तो गोरखपुर आओ। एक दिन योगी अपने मां-पिता को बिना बताए घर से चले गए। मां ने सोचा, नौकरी के लिए गए, इसलिए चुप रहीं। छह महीने बाद भी योगी की कोई सूचना न मिली तो दिल्ली में बड़ी बेटी पुष्पा से खबर मिली कि योगी आदित्यनाथ गोरखपुर में हैं। खबर थी कि गोरखपुर के सांसद ने दो महीने पहले योगी को अपना उत्तराधिकारी घोषित कर दिया है।
बेटे को संन्यासी वेश में देख चौंक गए थे पिता आनंद सिंह
खबर मिलते ही आनंद सिंह बिष्ट अपने बेटे से मिलने गोरखपुर पहुंचे तो देखा कि भगवा धारण किए सिर मुड़ाए एक युवा संन्यासी फर्श की सफाई का मुआयना कर रहा था। नजदीक पहुंचे तो वह उनका बेटा अजय सिंह बिष्ट था। आनंद सिंह बिष्ट अपने बेटे को संन्यासी वेश में देख चौंक गए। बोले ये क्या हाल बनाया है, वापस घर चलो, तुम्हारी मां का रो रोकर बुरा हाल है। बेटे ने मना किया तो पिता वापस पंचूर लौट आए और योगी की मां को लेकर फिर गोरखपुर पहुंचे। बेटे योगी को संन्यासी वेश में देखकर मां फूट-फूट कर रोने लगीं। इस दौरान उनके पिता ने उन्हें समझाया कि अब यहीं से लोगों का कल्याण होना है। यह रोने का समय नहीं है। योगी ने मां से कहा कि छोटे परिवार से बड़े परिवार में आया हूं। उसी रूप में जीवन जी रहा हूं।
बेटे के मुख्यमंत्री बनने पर क्या बोले थे पिता
योगी आदित्यनाथ जब देश के सबसे बड़े सूबे के मुख्यमंत्री बने थे तो पूरा परिवार खुशी से झूम उठा थ। मां संन्यासी बेटे की तस्वीर को गोद में लिए बैठी थी और उसकी कामयाबी की खुशी पिता की आंखों में छलक रही थी। योगी के पिता आनंद सिंह बिष्ट का कहना था कि यूपी में अब गुंडाराज खत्म होना चाहिए और सबका साथ सबका विकास होना चाहिए। उम्मीद ये भी है कि उनके गांव में मौजूद बाबा गोरखनाथ डिग्री कॉलेज का अब उद्धार हो जाएगा और वो अब सरकारी कॉलेज बन जाएगा। एक पत्रकार वार्ता के दौरान आनंद सिंह बिष्ट ने कहा था कि योगी एक दिन देश के प्रधानमंत्री बनेंगे। उन्होंने कहा था कि योगी और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के काम करते के तरीके में काफी समानता है। मेरा यह सपना एक दिन जरूर पूरा होगा।