VVIP हेलीकॉप्टर घोटाले में CBI ने पांच अधिकारियों पर केस चलाने की इजाजत मांगी
सीबीआइ ने केंद्र सरकार के पांच अधिकारियों के खिलाफ 3600 करोड़ रुपये के अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर घोटाले में कथित भूमिका के लिए मुकदमा चलाने की मंजूरी मांगी है।
नई दिल्ली, आइएएनएस। एक ताजा घटनाक्रम में केंद्रीय जांच ब्यूरो (Central Bureau of Investigation यानी CBI) ने केंद्र सरकार के पांच अधिकारियों के खिलाफ 3,600 करोड़ रुपये के अगस्ता वेस्टलैंड हेलीकॉप्टर घोटाले में कथित भूमिका के लिए मुकदमा चलाने की मंजूरी मांगी है। उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि सीबीआइ ने रक्षा मंत्रालय के चार अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा चलाने की अनुमति मांगी है। इनमें एक वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल है। सीबीआइ मामले में आगे बढ़ने के लिए सरकार से अभियोजन की इजाजत मिलने की प्रतीक्षा कर रही है।
सूत्रों ने दावा किया कि वीवीआइपी हेलीकॉप्टर खरीद (VVIP chopper case) मामले में एजेंसी की जांच के दौरान इन अधिकारियों की भूमिका सामने आई थी। सूत्र ने कहा कि एजेंसी को जांच के दौरान निर्णय लेने और हेलीकॉप्टरों की खरीद प्रक्रिया में उनकी कथित संलिप्तता से संबंधित दस्तावेज मिले हैं। सूत्रों ने यह भी कहा कि इस साल के शुरू में सीबीआइ के दो अधिकारियों के गवाह बनने के बाद पांच अधिकारियों की कथित संलिप्तता के बारे में एजेंसी को जानकारी मिली। उन्होंने सीबीआइ के साथ इन पांच अधिकारियों का विवरण साझा किया। सूत्रों की मानें तो एक बार अभियोजन की स्वीकृति मिलने या सरकार द्वारा इनकार किए जाने के बाद एजेंसी मामले में पूरक आरोपपत्र दाखिल करेगी।
मालूम हो कि सरकार ने एक जनवरी 2014 को भारतीय वायुसेना को 12 एडब्ल्यू-101 वीपीआईपी हेलिकॉप्टरों की आपूर्ति के लिए फिनमेक्के निका (Finmeccanica) की ब्रिटिश सहायक कंपनी अगस्ता वेस्टलैंड के साथ करार को रद कर दिया था। भारत सरकार की ओर से यह कदम खरीद मामले में संविदा के दायित्वों के कथित उल्लंघन और 423 करोड़ रुपये की घूस देने के आरोपों के कारण उठाया गया था। सीबीआई ने 12 मार्च 2013 को मामले में केस दर्ज किया था। इस केस में साल 2004 से 2007 तक वायुसेना के प्रमुख रहे एसपी त्यागी एवं अन्य पर अगस्ता वेस्टलैंड को कांट्रेक्ट दिलाने के लिए घूस लेने के आरोप लगाए गए थे।