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एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल का दूसरी बार सफल परीक्षण, जानिए इसकी खासियत

स्वदेशी तकनीक से निर्मित मैन पोर्टेबल एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल (एमपीएटीजीएल) का रविवार को दूसरी बार सफल परीक्षण किया गया।

By Nancy BajpaiEdited By: Published: Mon, 17 Sep 2018 07:47 AM (IST)Updated: Mon, 17 Sep 2018 07:47 AM (IST)
एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल का दूसरी बार सफल परीक्षण, जानिए इसकी खासियत
एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल का दूसरी बार सफल परीक्षण, जानिए इसकी खासियत

नई दिल्ली (प्रेट्र/आइएएनएस)। स्वदेशी तकनीक से निर्मित मैन पोर्टेबल एंटी टैंक गाइडेड मिसाइल (एमपीएटीजीएल) का रविवार को दूसरी बार सफल परीक्षण किया गया। अहमदनगर रेंज से इस मिसाइल ने सफलतापूर्वक उड़ान भरी। पहला परीक्षण शनिवार को किया गया था।

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रक्षा मंत्रालय के एक बयान में बताया गया है कि दोनों परीक्षणों ने मिशन के सभी उद्देश्यों को पूरा किया है। 15 और 16 सितंबर 2018 को दो मिशनों को अधिकतम सीमा क्षमता सहित विभिन्‍न श्रेणियों के लिए सफलतापूर्वक उड़ान परीक्षण कर पूरा किया गया।

रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस कामयाबी पर डीआरडीओ, भारतीय सेना और उससे जुड़ी इकाइयों को बधाई दी है। बता दें कि इसे पूरी तरह भारत में ही विकसित किया गया है।

एमपीएटीजीएल की खासियत

- ये मिसाइल कंधे पर रखकर चलाई जा सकती है।

- कंधे पर रखकर चलाए जा सकने वाले इस मिसाइल की रेंज क्षमता 4 किलोमीटर तक हो सकती है।

- कहा जा रहा है कि यह मिसाइल भारत की 'नाग' मिसाइल सीरीज का हिस्सा है।

- आसानी से ले जा सकने वाले इस मिसाइल से टैंक को ध्वस्त किया जा सकता है।

-  दुर्गम जगहों पर भी दुश्मनों के टैंक और अन्य ठिकानों को उड़ाने में सेना को काफी मदद मिलेगी।


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