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सिंध आज भारत का हिस्सा नहीं, मुझे इस बात का दु:ख है: आडवाणी

भाजपा के वरिष्ठ नेता एल के आडवाणी ने कहा है कि एशिया में कई देश हैं जिनके साथ संबंध सहज हो जाएं तो मुझे खुशी होगी।

By Kishor JoshiEdited By: Published: Mon, 10 Apr 2017 11:14 AM (IST)Updated: Mon, 10 Apr 2017 01:48 PM (IST)
सिंध आज भारत का हिस्सा नहीं, मुझे इस बात का दु:ख है: आडवाणी
सिंध आज भारत का हिस्सा नहीं, मुझे इस बात का दु:ख है: आडवाणी

 नई दिल्ली (एजेंसी)। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने आज नई दिल्‍ली में आयोजित इंडिया फाउंडेशन के एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा, 'आज सिंध भारत में नहीं है इससे मुझे दुख होता है। भारत का वह हिस्सा जहां मेरा जन्म हुआ, भारत की आजादी के बाद अलग हो गया।' उन्होंने कहा, 'किसी देश का नाम नहीं लेना चाहूंगा पर एशिया में भी कई देश हैं जिनके साथ संबंध सहज हो जाएं तो मुझे खुशी होगी।' 

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आपको बता दें कि बटवारे से पहले आडवाणी का जन्म कराची में एक सिंधी परिवार में हुआ था। बचपन की यादें जुड़ीं होने कारण आडवाणी कई बार सार्वजनिक तौर पर स्वीकार चुके हैं कि कराची उनका पसंदीदा शहर है। इसी साल जनवरी में प्रजापिता ब्रह्म कुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय के कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा था, 'कभी-कभी मैं महसूस करता हूं कि कराची और सिंध अब भारत का हिस्सा नहीं रहे। मैं बचपन के दिनों में सिंध में आरएसएस में काफी सक्रिय था। मेरा मानना है कि सिंध के बिना भारत अधूरा है।'

इससे पहले बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने इस कार्यक्रम के दौरान 1971 के युद्ध में भारत से मिलने वाले समर्थन को याद करते हुए कहा,'भारत सरकार व यहां के लोगों ने हमें पूरा समर्थन दिया है और हमने भी भारत की सुरक्षा चिंताओं पर हमेशा विचार किया है, और इसलिए हमारे बीच विश्‍वास कायम है।' 

यह भी पढ़ें: तीस्‍ता समझौते के बाद भारत-बांग्‍लादेश संबंधों को मिलेगा नया आयाम: हसीना


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