राजगुंधा रोड पर संकट, ठेकेदारों ने नहीं भरा टेंडर
मुनीष दीक्षित बैजनाथ छोटा भंगाल घाटी को बैजनाथ से कम दूरी पर जोड़ने वाले बिलिग-राजगुंधा रोड के काम पर संकट के बादल छा गए हैं। इस रोड के बाकी बचे काम के लिए लोक निर्माण विभाग की ओर से जारी किए टेंडर को भरने में किसी भी ठेकेदार ने दिलचस्पी नहीं दिखाई है। इस काम को पहले दो ठेकेदार संयुक्त वेंचर के तौर पर कर रहे थे। इनमें एक ठेकेदार का कुछ महीने पहले निधन हो गया और इसके बाद उक्त कंपनी ने लोक निर्माण विभाग को इस कार्य को आगे करने से मना कर दिया है।
मुनीष दीक्षित, बैजनाथ
छोटा भंगाल घाटी को बैजनाथ से कम दूरी पर जोड़ने वाले बिलिग-राजगुंधा रोड के काम पर संकट के बादल छा गए हैं। इस रोड के बाकी बचे काम के लिए लोक निर्माण विभाग की ओर से जारी किए टेंडर को भरने में किसी भी ठेकेदार ने दिलचस्पी नहीं दिखाई है। इस काम को पहले दो ठेकेदार संयुक्त वेंचर के तौर पर कर रहे थे। इनमें एक ठेकेदार का कुछ महीने पहले निधन हो गया और इसके बाद उक्त कंपनी ने लोक निर्माण विभाग को इस कार्य को आगे करने से मना कर दिया है।
इस सड़क में अब भी करीब नौ करोड़ रुपये का कार्य होना बाकी है। इसके लिए विभाग ने कुछ दिन पहले टेंडर जारी किया था, जो कि मंगलवार को ओपन किया लेकिन टेंडर में एक भी ठेकेदार ने दिलचस्पी नहीं दिखाई। बताया जा रहा है कि इस कार्य को जल्द से जल्द पूरा करने का विभाग और सरकार का दबाव था। इसे लेकर बाकायदा मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर भी छोटा भंगाल के मुल्थान में हुई जनसभा में इस साल मार्च तक की डेडलाइन दे गए थे। इसे लेकर विभाग के आला अधिकारियों को भी निर्देश दिए थे क्योंकि यह काम पहले ही सड़क के बीच में आने वाले कुछ पेड़ों के कारण आगे नहीं बढ़ पा रहा था। पिछले साल नवंबर में ही वन विभाग की स्वीकृति मिली थी। इसके बाद विभाग लगातार ठेकेदारों पर इस कार्य को जल्द पूरा करने का दबाव बना रहा था। भौगोलिक परिस्थितियां और बर्फबारी का क्षेत्र होने के कारण संबंधित कंपनी को काम में भी दिक्कत आ रही थी। इस बीच एक ठेकेदार की मृत्यु होने के बाद दूसरे ने इस काम को आगे करने से मना कर दिया है। करीब 32 किलोमीटर लंबे इस मार्ग पर प्रारंभिक चरण में 24 करोड़ रुपये खर्च किए जा रहे थे। लोगों को उम्मीद थी कि यह मार्ग इस साल तक बनकर तैयार हो जाएगा लेकिन अब नए टेंडर के लिए इस मार्ग के निर्माण में ठेकेदारों की ओर से कोई दिलचस्पी न दिखाने से अब यह काम काफी पिछड़ जाएगा।
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इस कार्य को दो ठेकेदार संयुक्त वेंचर के साथ कर रहे थे। एक ठेकेदार की कुछ माह पहले मृत्यु हो जाने के कारण दूसरे ने अकेले इस काम को करने से मना कर दिया था। इसके बाद नया टेंडर लगाया गया था, जिसमें अभी किसी ने भाग नहीं लिया है। इसका फिर से नौ करोड़ का टेंडर लगाया जाएगा।
-केके भारद्वाज, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग बैजनाथ