मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के निर्देश पर इंदौर में अब मुबंई-आगरा मार्ग के ऊपर दौड़ेगी मेट्रो ट्रेन
मेट्रो प्रोजेक्ट से जुड़े अफसरों का मानना है कि शहर में सबसे ज्यादा यात्री बीआरटीएस रूट पर मिलते है और पीथमपुर तक हजार लोग प्रतिदिन आवाजाही करते है। ऐसे में इस रूट पर मेट्रो ट्रेन ज्यादा उपयोगी साबित होगी। इंदौर में अब मुबंई-आगरा मार्ग के ऊपर दौड़ेगी मेट्रो ट्रेन
इंदौर, जेएनएन । मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पिछले दिनों इंदौर में अब मुबंई-आगरा मार्ग के ऊपर मेट्रो ट्रेन के लिए निर्देश दिए थे। मेट्रो रेल के 31 किलोमीटर के रुट पर निर्माण कार्य शुरू हो चुका है, मेट्रो का नेटवर्क आसपास के उपनगरों से भी जोड़ा जाएगा। बीआरटीएस को भी मेट्रो रूट में शामिल किया गया है। इसे राजीव गांधी चौराहा से आगे आगरा-मुबंई राष्ट्रीय राजमार्ग को भी जोड़ा जाएगा, ताकि महू और पीथमपुर तक यात्रियों को मेट्रो ट्रेन की सौगात मिल सके।
मालूम हो कि मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए जब सात साल पहले जब दिल्ली मेट्रो रेल कार्पोरेशन के फिजिबिलिटी सर्वे किया था तो रिपोर्ट में विजय नगर से भंवरकुंआ तक के हिस्से को मेट्रो के लिए उपयोगी माना था, लेकिन तब भोपाल के कुछ अफसरों ने इसे मेट्रो रुट में शामिल न किए जाने का मुद्दा उठाया था, क्योंकि तब बीआरटीएस कारिडोर की शुरुआत हो चुकी थी, लेकिन अब बीआरटीएस पर त्रिस्तीय मार्ग की कार्ययोजना तैयार हो रही है, जिसमें सड़क पर मिक्स ट्रैफिक, पहली मंजिल पर सिटी बस और दूसरी मंजिल पर मेट्रो का ट्रेक बनेगा, लेकिन मेट्रो के स्टापेज बीआरटीएस पर कम रहेंगे, ताकि बीआरटीएस का संचालन प्रभावित न हो। यहां मेट्रो ट्रेन लंबी दूरी तक यात्रा करने वालों के लिए उपयोगी साबित होगी।
जानकारी हो कि इस रूट के ट्रैफिक सर्वे के लिए अर्बन मास ट्रांसपोर्ट कंपनी के दल इसी माह इंदौर आएगा। वहीं मेट्रो प्रोजेक्ट से जुड़े अफसरों का मानना है कि शहर में सबसे ज्यादा यात्री बीआरटीएस रूट पर मिलते है और पीथमपुर तक हजार लोग प्रतिदिन आवाजाही करते है। ऐसे में इस रूट पर मेट्रो ट्रेन ज्यादा उपयोगी साबित होगी।
जानकारी के अनुसार मेट्रो के इस रूट के लिए नेशनल हाइवे के मध्य हिस्से को शामिल किया जाएगा, क्योंकि यह मार्ग सीधे पीथमपुर से जुड़ा है। राष्ट्रीय राजमार्ग के डिवाइडर की चौड़ाई चार मीटर से ज्यादा है। यहा पीलर निर्माण कर मेट्रो का संचालन आसानी किया जा सकता है और अतिरिक्त जमीन लेने में भी सरकार को परेशानी नहीं आएगी। जानकारी हो कि औद्योगिक क्षेत्र होने की वजह से पीथमपुर में नौकरी के लिए इंदौर से 45 हजार से ज्यादा लोग डेली अपडाउन करते है। बायपास पर 45 से ज्यादा उपनगरीय बसें इंदौर से सवा सौ से ज्यादा ट्रेवल वाहन कर्मचारियों को लेकर पीथमपुर जाते हैं, जबकि हजारों लोग अपने निजी वाहनों से भी महू-पीथमपुर तक रोज जाते हैं। भविष्य में पीथमपुर तक मेट्रो रुट बनने से सड़कों पर ट्रैफिक का दबाव कम होगा।